Pahalgam Terror Attack Today: जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में बड़ा आतंकी हमला हुआ है, 25 से ज्यादा पर्यटकों की मौत की आशंका है। इस हमले को तीन आतंकियों ने अंजाम दिया है जिनके तार टीआरपीएफ से जुड़े हुए है, इस संगठन को लश्कर का ही प्रॉक्सी बताया जाता है। शुरुआती जानकारी के मुताबिक दहशतगर्दों ने 50 राउंड फायरिंग की थी, कुछ रिपोर्ट्स में यहां तक दावा हुआ है कि लोगों से उनका मजहब पूछ मारा गया। इस समय सबसे बड़ा सवाल यह है कि आतंकियों ने पहलगाम जैसे टूरिस्ट स्पॉट को ही हमले के लिए क्यों चुना?

पहलगाम में दूसरे इलाकों के मुकाबले कम होती है फोर्स

जानकार बताते हैं कि जम्मू-कश्मीर का पहलगाम इलाका जंगलों से घिरा हुआ है, यह काफी ऊंचाई पर स्थित है। अब वैसे तो पूरे जम्मू-कश्मीर में सुरक्षाबलों की भारी तैनाती दिखती है, लेकिन पहलगाम एक ऐसी जगह है जहां दूसरे क्षेत्रों की तुलना में कम सिक्योरिटी रहती है। इससे पहले पहलगाम में क्योंकि कभी ऐसा हमला भी नहीं हुआ, ऐसे में ज्यादा फोर्स नहीं देखी गई। पहलगाम आए पर्यटक खुद बता रहे हैं कि जब हमला हुआ, कोई फोर्स उस समय वहां नहीं थी, लोग ही एक दूसरे की भागने में मदद कर रहे थे।

पहलगाम आतंकी हमले की LIVE LATEST UPDATES

आतंकी जंगल से आए, जंगल भाग गए

कई रिपोर्ट्स बता रहे हैं कि इस आतंकी हमले के एक घंटे बाद सुरक्षाबल वहां आने शुरू हुए, इलाके को कंट्रोल में लिया गया। लेकिन आतंकियों को इस पूरे इलाके की भनक थी, उन्हें भी पता था कि यहां दूसरे क्षेत्रों की तुलना में सुरक्षा कम है। पहलगाम के जिस इलाके में हमला हुआ है, वहां पर वाहन भी नहीं जाते हैं, पर्यटक खच्चर के जरिए ही वहां तक पहुंचते हैं, इसे ट्रैक वाला इलाका माना जाता है। ये सारी जानकारी भी इन दहशतगर्दों को पहले से थी।

माना जा रहा है कि इसी वजह से टूरिस्ट सीजन में पहलगाम को निशाना बनाया गया। वहीं यह इलाका क्योंकि जंगलों से घिरा हुआ है, ऐसे में आतंकी वहां से आए और वहीं से भाग भी गए। अभी के लिए पूरे इलाके में बड़े स्तर पर सर्च ऑपरेशन चल रहा है, कल यानी कि बुधवार को एनआईए भी वहां जाने वाली है।

अमरनाथ यात्रा का अहम पड़ाव है पहलगाम

वैसे पहलगाम को निशाना बनाने का एक बड़ा कारण यह भी है कि अमरनाथ यात्रा के रूट में यह क्षेत्र पड़ता है। अमरनाथ जाने के दो रास्ते रहते हैं, एक रास्ता पहलगाम से होते हुए जाता है। ऐसे में आतंकी हमला कर ना सिर्फ पर्यटकों के मन में डर पैदा करने की कोशिश हुई है बल्कि सरकार को भी सीधी चुनौती दे दी गई है। समझने वाली बात यह भी है कि जम्मू-कश्मीर की सबसे ज्यादा आय पर्यटन के जरिए आती है, जितना टूरिस्ट घाटी में आता है, उतना ही जम्मू-कश्मीर का विकास भी होता है। लेकिन कश्मिरियों और कश्मीर का विकास इन आतंकियों की सबसे बड़ी हार है, ऐसे में उसे खत्म करने के लिए ऐसे कायराना हमले पहले भी किए जा चुके हैं।

जब पर्यटकों को बनाया गया निशाना

जम्मू-कश्मीर में पर्यटकों पर हुआ ये अब तक का सबसे बड़ा हमला है। इससे पहले भी घाटी में टूरिस्ट्स को निशाना बना भय का माहौल बनाने की कोशिश हुई है। एक नजर दी गई टेबल पर डालनी चाहिए जिसे देख पता चलता है कि किस तरीके से सिविलियंस को भी आतंकियों ने अपने निशाने पर लिया है।

सालतारीखजगहमौत
20001-2 अगस्तअनंतनाग121
200120 जुलाईके पास13
19954 जुलाईपहलगाम1
200514 नवंबरलाल चौक6
20249 जूनरियासी9
202418 मईश्रीनगर
जम्मू-कश्मीर में पर्यटकों पर कब हुए हमले

पहलगाम हमले में पति को मारने के बाद क्या बोले थे पत्नी से आतंकी