Operation Sindoor Delegations: ऑपरेशन सिंदूर के बारे में दुनिया भर के देशों को जानकारी देने के लिए बनाए गए सात डेलीगेशन में शामिल सदस्यों पर कांग्रेस सांसद विवेक तन्खा ने सवाल उठाए हैं। विवेक तन्खा ने आरोप लगाया है कि केंद्र सरकार की ओर से बनाए गए डेलीगेशन में कुछ अपवादों को छोड़कर अपने पसंदीदा लोगों को शामिल किया गया है।

तन्खा ने X पर पोस्ट कर कहा, “यहां मुद्दा जम्मू-कश्मीर है लेकिन सात प्रतिनिधिमंडलों में से किसी में भी एक भी कश्मीरी पंडित नहीं है। ऐसा लगता है कि इस प्रजाति को भुला दिया गया है।” राज्यसभा सांसद ने आगे कहा कि परेशान करने वाली बात यह है कि कश्मीरी पंडित ना तो PMO की सूची में हैं और ना ही लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी के द्वारा भेजी गई लिस्ट का हिस्सा हैं।

राहुल गांधी ने चार नाम PMO को भेजे थे। तन्खा ने कहा कि डेलीगेशन में मध्य प्रदेश से भी कोई नेता नहीं है।

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कांग्रेस की ओर से जो चार नाम सुझाए गए थे उनमें से सिर्फ आनंद शर्मा को डेलीगेशन में शामिल किया गया है। बाकी तीन नाम गौरव गोगोई, सैयद नसीर हुसैन और अमरिंदर सिंह राजा वडिंग के थे। डेलीगेशन में कांग्रेस के नेताओं- मनीष तिवारी, अमर सिंह और सलमान खुर्शीद को भी शामिल किया गया है।

डेलीगेशन में 59 नेता हैं शामिल

बताना होगा कि पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत दुनिया भर में पाकिस्तान को बेनकाब करने के काम में जुटा हुआ है। इसके लिए केंद्र सरकार ने सात डेलीगेशन बनाए हैं। इन डेलीगेशन में 59 नेता शामिल हैं। बताना होगा कि भारत की ओर से बनाए गए हर डेलीगेशन में 7 से 8 नेता शामिल हैं और पूर्व राजनयिक भी इसमें उनकी मदद करेंगे।

इन डेलीगेशन का नेतृत्व करने की जिम्मेदारी शशि थरूर, रवि शंकर प्रसाद, संजय कुमार झा, बैजयंत पांडा, कनिमोझी करुणानिधि, सुप्रिया सुले और श्रीकांत एकनाथ शिंदे को दी गई है।

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