केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और जयराम रमेश को लीगल नोटिस देने का काम किया है। उनकी तरफ से जोर देकर कहा गया है कि उनकी छवि को धूमिल करने और पार्टी के अंदर ही उनकी सांख को चोट पहुंचाने के लिए कांग्रेस द्वारा एक भ्रामक वीडियो को एक्स पर शेयर किया गया है। अभी तक कांग्रेस ने इस नोटिस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है।
असल में कांग्रेस ने कुछ दिन पहले ही सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर एक वीडियो शेयर किया था जिसमें केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी कह रहे थे कि किसान, मजदूर नाराज हैं, गांव में सड़के नहीं है, अच्छे अस्पताल नहीं है। अब इसी वीडियो को शेयर कांग्रेस अध्यक्ष और जयराम रमेश ने बीजेपी को घेरने का काम किया। लेकिन अब गडकरी का दावा है कि कांग्रेस द्वारा शेयर किया गया वीडियो आधा है और जानबूझकर इस तरह से एडिट किया गया है कि कुछ ही हिस्सा सुनाई दे रहा है।
केंद्रीय मंत्री के मुताबिक उस वीडियो में उन्होंने ये भी कहा था कि इसी सरकार के कार्यकाल में इन सभी विभागों में बेहतरीन काम हुआ था। लेकिन आरोप ये लगा है कि कांग्रेस ने जानबूझकर आधा-अधूरा वीडियो चलाया और गडकरी की छवि को धूमिल करने का काम किया। इसी वजह से केंद्रीय मंत्री की तरफ से दोनों मल्लिकार्जुन खड़गे और जयराम रमेश को लीगल नोटिस दिया गया है।
उस लीगल नोटिस के तहत दोनों खड़गे और जयराम रमेश को 24 घंटे के अंदर में वो वीडियो सोशल मीडिया से हटाना होगा और लिखित माफी भी मांगनी होगी। अब कांग्रेस इस लीगल नोटिस पर क्या जवाब देती है, उसकी क्या प्रतिक्रिया रहती है, इसका इंतजार करना होगा। वैसे चुनावी मौसम है तो आने वाले दिनों में इस तरह से लीगल नोटिस और आरोप-प्रत्यारोप का दौर और ज्यादा देखने को मिलेगा। ये कोई पहली बार नहीं है जब किसी नेता को इस तरह से नोटिस थमाया गया हो।