मुंबई में भ्रष्टाचार के मामले में पुलिसकर्मी की गिरफ्तारी हुई है। बीते मंगलवार को मुंबई के शिवाजी नगर पुलिस स्टेशन के हेड और वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक बापूराव मधुकर देशमुख को कथित तौर पर एक लाख रुपये घूस लेते हुए रंगे हाथों भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) की टीम ने गिरफ्तार किया है। इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक रिश्वत की कुल राशि 2.5 लाख रुपये थी। ये रिश्वत बापूराव ने एक स्कूल ट्रस्टी से कानूनी मामले में सहयोग और पुलिस सुरक्षा मुहैया कराने के बदले में मांगी गई थी।
एसीबी के अनुसार, ट्रस्ट का 41 वर्षीय ट्रस्टी इस मामले का शिकायतकर्ता है। वह शिवाजी नगर इलाके में एक स्कूल चलाता है। 57 साल के बापूराव को उनके ही पुलिस थाने से एसीबी ने रंगे हाथों गिरफ्तार किया। दरअसल पिछले साल 15 अगस्त 2024 को कुछ लोग किसी विवाद को लेकर ट्रस्टी के स्कूल का ताला तोड़कर जबरन परिसर में घुस गए थे। जिसको लेकर ट्रस्टी ने शिवाजी नगर पुलिस स्टेशन और चैरिटी कमिश्नर के पास शिकायत दर्ज कराई थी।
दोनों पक्षों में 2.5 लाख पर तय हुआ था मामला
एसीबी ने बताया कि ट्रस्टी की मदद करने और चैरिटी कमिश्नर ऑफिस से अंतिम आदेश आने तक विवाद करने वालों को स्कूल परिसर में प्रवेश करने से रोकने और पुलिस सुरक्षा मुहैया कराने के बदले में बापू देशमुख ने ट्रस्टी से 3 लाख रुपये की रिश्वत मांग थी। हालांकि दोनों के बीच बातचीत होने के बाद ये रिश्वत 2.5 लाख पर तय हुई।
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इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक चूंकि शिकायतकर्ता लीगल काम के लिए पुलिस को रिश्वत नहीं देना चाहता था, इसलिए ट्रस्टी ने एसीबी से संपर्क करके मामले की पूरी जानकारी दे दी। वहीं एसीबी के एक अधिकारी ने बताया कि मामले में जांच के बाद पता चला कि मामला सही है। ऐसे में एसीबी ने पुलिस अधिकारी के इस कार्य को रंगे हाथों पकड़ने के लिए जाल बिछाई। जिसके बाद मंगलवार रात शिकायतकर्ता ट्रस्टी ने बापू देशमुख को जैसे ही थाने रिश्वत की 1 लाख रकम सौंपी। तुरंत रंगे हाथों एसीबी टीम ने उसे पकड़ लिया।
एसीबी के एक सूत्र ने बताया कि एसीबी देशमुख के बारे में अन्य मामलों में भी खोजबीन की प्रक्रिया शुरू कर दी है। ताकि इस बात का पता लगाया जा सके कि और भी किन-किन साधनों वो रिश्वत की संपत्ति प्राप्त करता था।