Kerala News: केरल के तट पर रविवार को लाइबेरियाई मालवाहक जहाज झुकते-झुकते डूब गया। इसके चलते उसमें लदे कंटेनर्स समंदर में गिर गए। इसके चलते तेल रिसाव का खतरा बढ़ गया और क्षेत्र में चेतावनी जारी की गई है। हालांकि अभी तक कोई तेल रिसाव हुआ तो नहीं है, लेकिन किसी भी अनहोनी की संभावना के चलते लोगों को सावधान रहने और इलाके से दूरी बनाने को कहा गया है।

लाईबेरियाई कार्गो MSC Elsa 3, तिरुवनंतपुरम के पास विझिंजम से कोच्चि बंदरगाह के रास्ते में शनिवार को कोच्चि के तट से 38 समुद्री मील दूर खराब मौसम और तूफान के चलते झुकना शुरू हो गया। वहीं अगले दिन सुबह तक, कई कंटेनर पानी में गिर गए और डूबने लगे। इंडियन कोस्ट गार्ड्स के अनुसार जहाज रविवार को तड़के एक होल्ड में बाढ़ के कारण तेजी से पलट गया। इसके चलते तेल फैलने का खतरा बढ़ गया।

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कोस्ट गार्ड्स ने क्रू मेबर्स को बचाया?

तटरक्षक बल ने रविवार को एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि आज सुबह कोच्चि के पास जहाज डूबने के बाद लाइबेरियाई ध्वज वाले कंटेनर जहाज एमएससी ईएलएसए 3 के सभी 24 चालक दल के सदस्यों को सुरक्षित बचा लिया गया, 21 को भारतीय तटरक्षक बल द्वारा और 3 को भारतीय नौसेना के जहाज, सुजाता द्वारा बचाया गया।

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क्यों जारी किया गया अलर्ट?

केरल SDRF ने लोगों को चेतावनी जारी की है कि वे तट की ओर बहने वाली वस्तुओं से कम से कम 200 मीटर दूर रहें। राज्य सरकार ने तट पर, मुख्य रूप से मध्य और दक्षिणी केरल में अलर्ट जारी किया है, जहां डूबे हुए जहाज के कंटेनर तेज़ हवा और धाराओं के साथ पहुंच सकते हैं। इसके अलावा, जहाज से तेल के रिसाव के बारे में भी अलर्ट जारी किया गया है, जो केरल तट के किसी भी हिस्से तक पहुँच सकता है।

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कितना खतरना होगा तेल का रिसाव?

कोस्ट गार्ड्स कहा है कि डूबे हुए जहाज़ पर 640 कंटेनर थे, जिनमें से 13 में “खतरनाक कार्गो” और 12 में कैल्शियम कार्बाइड था। इसके अलावा, जहाज़ के टैंकों में 84.44 मीट्रिक टन डीज़ल और 367.1 मीट्रिक टन फर्नेस ऑयल था। हालाँकि, भारतीय राष्ट्रीय महासागर सूचना और सेवा केंद्र (INCOIS) ने चेतावनी दी है कि अगर रिसाव होता है, तो दक्षिणी केरल के कम से कम दो तटीय ज़िलों में 36 से 48 घंटों के भीतर प्रदूषण हो सकता है।

खराब सिचुएशन से निपटने के लिए प्लान कर रहे सरकार और कोस्ट गार्ड

तटरक्षक बल ने कहा कि प्रदूषण से निपटने के लिए व्यापक तैयारियों को एक्टिव कर दिया है। राज्य सरकार और कोस्ट गार्ड एक साथ मिलकर काम कर रहे हैं। राज्य सरकार ने फैक्ट्रीज और बॉयलर्स विभाग को दक्षिणी और मध्य केरल जिलों में दो-दो और उत्तरी जिलों में एक-एक रैपिड रिस्पांस टीम (आरआरटी) तैयार करने को कहा है। इसके अलावा, तेल की परत के तट तक पहुंचने की स्थिति में, राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को दक्षिणी और मध्य तटीय जिलों में दो-दो और उत्तरी जिलों में एक-एक आरआरटी ​​तैयार करने का निर्देश दिया गया है।

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