Pinarayi Vijayan On Congress: लोकसभा चुनाव 2204 (Lok Sabha Chunav 2024) में कांग्रेस ने पिछले दो चुनावों के मुकाबले अच्छा प्रदर्शन किया है। इसके तहत ही पार्टी ने केरल की 20 में से 14 सीटों पर अपना कब्जा जमाया है। दूसरी ओऱ राज्य की सत्ताधारी पार्टी सीपीएम को बड़ा झटका लगा है और पार्टी ने केवल एक ही सीट जीती है। पार्टी महज एक ही सीट जीत पड़ी है। इस बीच कांग्रेस ने लेफ्ट के खराब प्रदर्शन को लेकर सीएम पिनराई विजयन के इस्तीफे की मांग की है, जिस पर विजयन ने करारा जवाब दिया है।
कांग्रेस द्वारा इस्तीफा मांगने की खबरों को लेकर केरल के सीएम पनराई विजयन ने मंगलवार को विधानसभा के पटल पर कहा कि आम चुनावों में 20 में से एक लोकसभा सीट जीतने रे बावजूद लेफ्ट गठबंधन पर सवाल नहीं खड़े होने चाहिए।
बीजेपी कैसे जीत गई एक सीट
केरल के सीएम ने यह भी कहा कि वाम लोकतांत्रिक मोर्चा कांग्रेस नीत गठबंधन की 18 सीटों पर जीत से चिंतित नहीं है लेकिन इस बार पर विचार किया जाना चाहिए कि बीजेपी यहां एक सीट कैसे जीत गई।
विधानसभा में चर्चा का जवाब देते हुए उन्होंने पूछा कि कांग्रेस का कहना है कि एलडीएफ की हार की जिम्मेदारी लेते हुए मुझे पद छोड़ देना चाहिए। इस्तीफा मांगने के पीछे क्या तर्क है?
2004 का विजयन ने दिया उदाहरण
2004 के लोकसभा चुनाव में केरल में कांग्रेस पार्टी के खराब प्रदर्शन के बाद मुख्यमंत्री के रूप में ए.के. एंटनी के इस्तीफे का जिक्र करते हुए विजयन ने कहा कि एंटनी ने 2004 में इस्तीफा दिया था, इसलिए नहीं कि कांग्रेस ने सीटें खो दी थीं, बल्कि उस पार्टी में संगठनात्मक मुद्दों के कारण पार्टी चुनाव हारी थी। किसी को भी उस ओर इशारा करके इस सरकार के इस्तीफे की मांग नहीं करनी चाहिए।
विजयन ने कहा कि हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस के मुख्यमंत्री क्यों हैं, कर्नाटक, और तेलंगाना में भी पार्टी का प्रदर्शन अच्छा नहीं रहा है। विजयन ने पूछा कि क्या कांग्रेस ने उन राज्यों के मुख्यमंत्रियों का इस्तीफा मांगा है? बता दें कि कांग्रेस का प्रदर्शन लोकसभा चुनावों के दौरान इन राज्यों में भी कुछ खास नहीं रहा है।
ज्यादा खुश न हो कांग्रेस
कांग्रेस को जीत पर बहुत ज़्यादा खुश न होने के लिए कहते हुए विजयन ने कहा कि एलडीएफ हार के पीछे के कारणों की जांच करेगा और सुधार करेगा। बीजेपी ने ऐसी स्थिति पैदा कर दी थी जिसमें लोगों के एक वर्ग को चिंता थी कि क्या वे इस देश में रह पाएंगे। ये लोग (प्रधानमंत्री नरेंद्र) मोदी को किसी भी कीमत पर सत्ता से बाहर देखना चाहते थे।
पिनराई विजयन ने जनता के वोटिंग पैटर्न को लेकर कहा कि वे एलडीएफ के खिलाफ़ नहीं थे, वे मोदी शासन से बचना चाहते थे। यही अब और 2019 में हुआ है। कांग्रेस अगर यह सोचती है कि यह एलडीएफ के खिलाफ़ भावना थी, लेकिन हम ऐसा नही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि लोकसभा और विधानसभा चुनावों में मतदान का तरीका अलग-अलग होता है। उन्होंने कहा है कि हमें मतदाताओं द्वारा दिखाए गए विवेक को समझना चाहिए। 2019 के लोकसभा चुनावों में यूडीएफ (कांग्रेस के नेतृत्व वाले यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट) को भारी जीत मिली थी, लेकिन 2020 के स्थानीय निकाय चुनावों और 2021 के विधानसभा चुनावों में उन्हें झटका लगा।