महात्मा गांधी पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने वाले कालीचरण महाराज का कहना है कि वे गांधी के फॉलोअर थे लेकिन जब पढ़ाई की तो सच्चाई का पता चला इसलिए अब उनसे नफरत करता हूं। कालीचरण महाराज को हाल ही में बेल मिली है, महात्मा गांधी को लेकर आपत्तिजनक शब्दों का इस्तेमाल करने पर उन्हें गिरफ्तार किया गया था। जेल से बाहर आने के बाद उन्होंने कहा कि वे गांधी को फॉलो करते थे और ब्रह्मचर्य जीवन जीते थे। 12 साल तक अपने शरीर पर साबुन का इस्तेमाल नहीं किया और गोबर से नहाते थे।

उन्होंने कहा, “आजीवन ब्रह्मचर्य व्रत किया और पूरी तरह से गांधी को फॉलो करता था। खादी पहनता था। पूरी तरह से गांधीवादी था, लेकिन जब मैंने आगे की पढ़ाई की तब समझ आया कि गांधी ने देश के साथ, धर्म के साथ क्या किया है इसलिए मेरे हृदय में गांधी के लिए नफरत भर गई। नफरत करता हूं मैं गांधी से।”

कालीचरण महाराज ने कहा, “अगर राष्ट्र और धर्म के लिए तलवार उठाना गलत है तो राम राम कहने वाले गांधी ये देखें कि धर्म के लिए भगवान श्री रामचंद्र ने भी शस्त्र उठाया था। कृप्या मुझे साधू संत, महापुरुष ना समझें। मैं काली मां का बेटा हूं।” कालीचरण ने कहा, “गांधी ने अहिंसा क्या बताई। अब्दुल रशीद नाम के एक व्यक्ति ने स्वामी श्रद्धानंद जी का खून कर दिया तो गांधी ने उसको अपना भाई बताया। यह अहिंसा है? और सुखदेव-भगत सिंह की फांसी नहीं रुकवाई।

क्यों जाना पड़ा था जेल
पिछले साल दिसंबर महीने में छत्तीसगढ़ के रायपुर में एक धर्म संसद में कालीचरण महाराज ने महात्मा गांधी को लेकर आपत्तिजनक शब्दों का प्रयोग किया था। इतना ही नहीं उन्होंने गांधी की हत्या करने के लिए नाथूराम गोडसे को नमन भी किया था। इसके बाद कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने छत्तीसगढ़ में कई जगह कालीचरण के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई थी। इस पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने एमपी से कालीचरण को गिरफ्तार कर लिया था।