जम्मू-कश्मीर के पुंछ में जमीन पर स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है, तीन नागरिकों की मौत ने घाटी में उबाल ला रखा है। एक तरफ आतंकी हमलों की वजह से सेना के सामने बड़ी चुनौतियां हैं तो वहीं दूसरी तरफ स्थानीय लोगों की मौत ने अविश्वास की खाई पैदा कर दी है। पुंछ में जिन तीन नागरिकों की संदिग्ध स्थिति में मौत हुई है, उनमें से एक BSF जवान का भाई सफीर भी था। अब उस भाई की मौत से बीएसफ जवान भी आहत और उनकी तरफ से इंडियन एक्सप्रेस से खास बातचीत की गई है।

बीएसफ जवान ने क्या बोला?

पुंछ में मारे गए अपने भाई सफीर को लेकर बीएसफ जवान नूर अहमद ने कहा कि हम जो देश की सेवा कर रहे हैं, ये उसका इनाम है। मुझे तो अपने भाई की मौत के बारे में एक पुलिस ऑफिसर से पता चला, उन्होंने शुक्रवार सुबह फोन किया था। मेरा भाई कई एजेंसियों के लिए काम कर रहा था। जिस समय मेरे भाई के मृत शव को कब्र में दफनाया गया, उसी के साथ उसकी विधवा पत्नी और तीन नाबालिग बच्चे अकेले रह गए। मेरे 82 साल के पिता मीर हुसैन और मां जाइनाब तो अभी कोमा जैसी स्थिति में हैं।

पुंछ में हुआ क्या था?

जानकारी के लिए बता दें कि गुरुवार को आतंकी हमला हुआ था, उस हमले में चार जवान शहीद हो गए। उसके बाद अगले दिन शुक्रवार से सेना ने बड़े स्तर पर सर्च ऑपरेशन चलाया और पुंछ से कुल 8 संदिग्धों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया। अब उन्हीं 8 नागरिकों में से 3 की मौत हो गई है। मृतकों के नाम सफीर अहमद, उसके दो भाई- मोहम्मद शौकत और शबीर अहमद है। अभी के लिए तीनों की दफनाने की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है, लेकिन माहौल में अजीब से तनाव है। पुंछ के ही दो जिलों में इस समय इंटरनेट सेवाएं बंद चल रही हैं।

पुलिस मामले पर चुप, लोग बयां कर रहे दर्द

असल स्थिति समझने के लिए जब जम्मू के आर्मी पब्लिक रिलेशन ऑफिसर से बात की गई तो उन्होंने सिर्फ इतना कहा कि उनके पास मृतकों और घायलों को लेकर कोई जानकारी नहीं है। ये जरूर है कि पुंछ के डिप्टी कमिश्नर मोहम्मद यासिन चौधरी ने इस मामले में एक FIR दर्ज की है, लेकिन लगातार कॉल करने के बावजूद भी उनकी तरफ से कोई जानकारी साझा नहीं की गई।

परिवारों को आर्थिक मदद देने का ऐलान

अब ज्यादा इनपुट लेने के लिए इंडियन एक्सप्रेस ने मृतकों के परिवार से ही और बात करने की कोशिश की। इसी कड़ी में मृतक शौकत अहमद के रिश्तेदार मोहम्मद इकबाल ने बताया कि सुबह 10 बजे सेना का एक जवान दो पुलिस अधिकारियों के साथ आया था। वहां से शौकत को उठा लिया गया और कई घंटों तक पूछताछ की गई। जब रात को करीब 10 बजे हम बुफिलियाज इलाके में पहुंचे तो वहां हमे सिर्फ शव दिखे। बातचीत में इस बात का भी खुलासा हुआ कि मृतकों के शरीर पर टॉर्चर के निशान थे। सोशल मीडिया पर कुछ ऐसे वीडियो वायरल रहे जहां पर सुरक्षाबल सख्ती से पूछताछ करते दिख रहे थे, लेकिन उन वीडियो की वास्तविकता को लेकर पुष्टि नहीं हो पाई है।

अभी के लिए बताया जा रहा है कि स्थानीय प्रशासन ने वादा किया है कि मृतकों के परिवारों को आर्थिक मदद के तौर पर 30 लाख रुपये दिए जाएंगे, सरकारी नौकरी देने का वादा भी कर दिया गया है।

NOTE: To read this report in English, Click here‘This is the prize for working for the nation’: BSF man, brother of civilian killed in Poonch