ईरान और इजरायल के बीच तनाव के माहौल में भारत-पाकिस्तान के बीच सीजफायर को लेकर चर्चाएं तेज हैं। इसी पर बिहार के प्रसिद्ध शिक्षक खान सर ने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में भारत ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ शुरू किया, लेकिन जल्द ही सीजफायर कर दिया गया। यह रणनीति सही नहीं थी। उनके अनुसार, अन्याय को मिटाने के लिए जड़ पर चोट करना जरूरी होता है।

एएनआई की संपादक स्मिता प्रकाश के साथ पॉडकास्ट में खान सर ने भगवान बजरंगबली और श्रीकृष्ण का उदाहरण देते हुए बताया कि शांति और करुणा का मतलब यह नहीं है कि हम निःशस्त्र हो जाएं। उन्होंने कहा, “बजरंगबली करुणा से भरे हैं, लेकिन हमेशा गदा साथ रखते हैं। वहीं श्रीकृष्ण बांसुरी बजाते हैं, प्रेम का प्रतीक हैं, लेकिन महाभारत के समय सुदर्शन चक्र साथ लेकर गए थे।”

‘युद्ध बुरा होता तो श्रीकृष्ण कभी महाभारत नहीं होने देते’

उनका कहना है कि अगर युद्ध बुरा होता तो श्रीकृष्ण कभी महाभारत नहीं होने देते। शांति हमेशा प्राथमिकता होनी चाहिए, लेकिन युद्ध उसका अंतिम उपाय है। “अगर हम युद्ध नहीं चाहते, तो उसके लिए तैयार रहना चाहिए।”

खान सर ने कहा कि भगवान राम, कृष्ण, शिव – सभी शांति के प्रतीक हैं, लेकिन हर एक के पास अपना हथियार है। इससे संदेश साफ है – करुणा का अर्थ कमजोरी नहीं होता। भारत-पाकिस्तान के बीच शांति जरूरी है, लेकिन बार-बार हमलों के बाद बिना ठोस कार्रवाई के सीजफायर करना न तो संदेश देता है, न समाधान।

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खान सर ने भारत-पाकिस्तान सीजफायर को लेकर अपनी बात बेहद साफ शब्दों में रखी। उन्होंने कहा कि पूरी दुनिया जानती है कि पाकिस्तान आतंकवाद की फैक्ट्री चला रहा है। वहां आतंकियों को ट्रेनिंग दी जाती है और फिर भारत जैसे शांतिप्रिय देशों में भेजा जाता है। ऐसे में सिर्फ आतंकियों पर कार्रवाई करना अधूरी रणनीति है। उन्होंने उस विचार को भी खारिज किया जिसमें कहा गया कि भारत का उद्देश्य केवल आतंकियों को निशाना बनाना था, और जब वह उद्देश्य पूरा हो गया तो सीजफायर स्वीकार कर लिया गया।

खान सर का कहना था कि जिन आतंकवादियों पर हमला किया गया, वे पाकिस्तान की ही उपज हैं। जब जड़ पाकिस्तान है, तो सिर्फ शाखाओं पर वार करने से समस्या नहीं सुलझेगी। उन्होंने जोर देकर कहा कि “अगर पेड़ हटाना है, तो तना नहीं, जड़ काटनी होगी।” यानी आतंक की फैक्ट्री चलाने वाले मुल्क पर सीधी और सख्त कार्रवाई होनी चाहिए, तभी स्थायी समाधान संभव है।