हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने प्रदेश में ‘नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजनशिप’ (NRC) का ऐलान किया है। असम की तर्ज पर यहां पर अब नागरिक रजिस्टर वाला नियम लागू किया जाएगा। यानी विदेशी नागरिकों को हरियणा से निकालने की तैयारी शुरू की जाएगी। मनमोहर लाल खट्टर का यह ऐलान ऐसे वक्त में आया है जब सूबे में विधानसभा चुनाव की खींचतान जारी है।

सीएम खट्टर ने पंचकूला में न्यायमूर्ति (रिटायर्ड) एच एस भल्ला और पूर्व नौसेना प्रमुख सुनील लांबा से उनके आवास पर मुलाकात के बाद यह बात कही। उन्होंने मीडियाकर्मियों से बातचीत में कहा, “हम हरियाणा में एनआरसी लागू करेंगे।” मुख्यमंत्री ने कहा कि सेवानिवृत न्यायाधीश जस्टिस भल्ला एनआरसी पर काम कर रहे हैं और जल्द ही वह असम जाएंगे। हमने उनसे सुझाव मांगे हैं।

गौरतलब है कि राजनीति के जानकार इसे प्रदेश में एक खट्टर सरकार के द्वारा बड़ा दांव मान रहे हैं। प्रदेश से विदशी नागरिकों की मुहिम यहां भी असम के पैमाने पर चलाने की तैयारी है। दरअसल, अवैध प्रवासियों को लेकर असम लंबे समय से प्रभावित रहा है और एनआरसी की मांग करता रहा है। इसी मुद्दे को बीजेपी ने अपना कोर-अजेंडा भी बनाया था और चुनावी मैदान में उतरी थी। असम की जनता ने दिल खोलकर बीजेपी को वोट किया।