कांग्रेस पार्टी ने आखिरीकार कर्नाटक के सीएम पद को लेकर फैसला ले लिया है। सिद्धारमैया कर्नाटक के मुख्यमंत्री होंगे जबकि डीके शिवकुमार डिप्टी सीएम पद की शपथ लेंगे। इस फैसले पर कांग्रेस कार्यकर्ताओं की तरफ से कई तरह की प्रतिक्रियाएं सामने आई हैं। डीके शिवकुमार के भाई डीके सुरेश ने कहा कि वो इस फैसले से पूरी तरह से खुश नहीं हैं।
उन्होंने न्यूज एजेंसी ANI से बातचीत में कहा, “मैं पूरी तरह से खुश नहीं हूं लेकिन कर्नाटक के हित में हमें अपनी कमिटमेंट पूरी करनी है… इसलिए शिवकुमार को यह मानना पड़ा। भविष्य में हम देखेंगे, बहुत लंबा सफर तय करना है… मैं चाहता था (डीके शिवकुमार के लिए सीएम पद) लेकिन ऐसा नहीं हुआ। हम इंतजार करेंगे।”
चुनाव रिजल्ट के चार दिन बाद तय हुआ CM – कर्नाटक में कांग्रेस ने बहुत बड़ी जीत दर्ज की है लेकिन राज्य के सीएम फेस के चुनना उतना ही कठिन भी था। चुनाव परिणाम के बाद चार दिन की लॉबिंग और गहन मंथन के बाद कांग्रेस लीडरशिप सीएम की कुर्सी को लेकर सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार का विवाद सुलझा पाई।
पहले से ही यह कयास लगाए जा रहे थे कि सिद्धारमैया को चयन सीएम पद के लिए किया जाएगा जबकि डीके शिवकुमार को उनका डिप्टी बनाया जाएगा। डीके शिवकुमार ही कर्नाटक में कांग्रेस अध्यक्ष का पद भी संभालेंगे। हालांकि शिवकुमार की कैंप की तरफ से यह कहा गया कि पार्टी लीडरशिप 2.5-2.5 साल के फैसले के लिए राजी है लेकिन ऐसा कोई पब्लिक अनाउंसमेंट नहीं किया गया है। ये दोनों नेता 20 मई को शपथ लेंगे।
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, डीके शिवकुमार अपने साथ किसी भी अन्य नेता को डिप्टी सीएम बनाने के लिए राजी नहीं थे क्योंकि उनके पास पहले से KPCC चीफ का पद है। ऐसे में वो नहीं चाहते थे कि किसी को भी उनके कद के बराबर खड़ा किया जाए। बताया जा रहा है कि डीके शिवकुमार बुधवार देर रात डिप्टी सीएम पद संभालने के लिए राजी हुए। अब बेंगलुरु में CLP की मीटिंग में सिद्धारमैया को विधायक दल का नेता चुना जाएगा।