Nimisha Priya Death Sentence Overturned In Yemen: विदेश मंत्रालय (MEA) ने उन खबरों का खंडन किया है जिनमें कहा गया था कि भारतीय नर्स निमिषा प्रिया की फांसी की सजा रद्द कर दी गई है। केरल की इस नर्स को हत्या के एक मामले में मौत की सज़ा सुनाई गई थी। सोमवार (28 जुलाई, 2025) को सुन्नी नेता कंथापुरम एपी अबूबकर मुसलियार के कार्यालय ने दावा किया कि मलयाली नर्स निमिशा प्रिया, जो यमनी नागरिक तलाल अब्दो महदी की कथित हत्या के लिए मौत की सजा पर है, को यमनी राजधानी सना में हौथी मिलिशिया द्वारा फांसी की सजा रद्द कर दी गई है।

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, यमन में हत्या के एक मामले में मौत की सजा का सामना कर रही भारतीय नागरिक निमिषा प्रिया के मामले पर कंथापुरम एपी के भारतीय ग्रैंड मुफ्ती अबुबकर मुस्लैयार के कार्यालय ने कहा था, ‘निमिषा प्रिया की मौत की सजा, जिसे पहले निलंबित कर दिया गया था, को रद्द कर दिया गया है। सना में आयोजित एक हाई लेवल मीटिंग में पहले से अस्थायी रूप से निलंबित मौत की सजा को पूरी तरह से रद्द करने का फैसला किया गया।’ हालांकि, अभी तक यमन सरकार की तरफ से आधिकारिक तौर पर पुष्टि नहीं हुई है। साथ ही भारत सरकार के अधिकारियों ने भी इस मामले को लेकर कुछ नहीं कहा है।

केरल की नर्स निमिषा प्रिया को यमन के अधिकारियों द्वारा पहले 16 जुलाई को फांसी दी जानी थी, लेकिन भारत सरकार के दखल के बाद एक दिन पहले ही उनकी मौत की सजा अस्थायी रूप से रोक दी गई थी। सरकार ने यमन प्रशासन से आग्रह किया था कि वह परिवार को दूसरे पक्ष के साथ आपसी सहमति से समाधान निकालने के लिए और समय दे।

नर्स निमिषा की फांसी मामले में यमन के परिवार ने क्या मांग की?

क्या था पूरा मामला?

निमिषा 19 साल की उम्र में 2008 में नर्सिंग की नौकरी की तलाश में यमन गई थी। 2020 में एक स्थानीय अदालत ने उसे महदी को बेहोशी का इंजेक्शन देकर उसकी हत्या करने का दोषी पाया था। निमिषा ने तलाल के साथ पार्टनरशिप में एक क्लिनिक शुरू किया था। निमिषा ने अपना पासपोर्ट वापस लेने के लिए तलाल को बेहोश कर दिया था। निमिषा का दावा है कि तलाल ने उसका शारीरिक और आर्थिक शोषण किया और उसे यह अपराध करने के लिए मजबूर किया गया लेकिन ओवरडोज के कारण तलाल की मौत हो गई। निमिषा का कहना था कि तलाल ने उसका पासपोर्ट अपने पास ही रखा हुआ था। यमन में भारतीय नर्स निमिषा प्रिया की फांसी पर लगी रोक