जम्मू-कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधान खत्म होने के बाद प्रदेश में अभी तक सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच मुठभेड़ की कोई खबर नहीं है। हालांकि सुरक्षा व्यवस्था को देखते हुए हजारों लोगों को हिरासत में लिया गया है। इससे प्रशासन के लिए एक नई परेशानी पैदा होती नजर आ रही है। हिरासत में लोगों को रखने के चलते यहां जगह कम पड़ने की खबरें हैं। ऐसे में प्रशासन अब निजी प्रॉपर्टीज हायर कर रहा है ताकि हिरासत में रखे लोगों को वहां रखा जा सके। बड़े अधिकारियों के हवाले से न्यूज वेबसाइट आजतक ने यह जानकारी दी है।

प्रदेश के विशेष राज्य का दर्जा खत्म होने के बाद जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्रियों उमर अब्दुल्ला और महबूबा मुफ्ती को भी हिरासत में रखा गया है। उन लोगों को भी पकड़ा गया है जो पूर्व में कभी ना कभी पत्थरबाजी में शामिल रहे। माना जाता है कि सुरक्षा के चलते यह कदम इसलिए उठाया गया है ताकि घाटी में स्थिति नियंत्रण से बाहर ना हो जाए।

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सूत्रों से पता चला है कि प्रशासन ने अभी यह सार्वजनिक नहीं किया है कि प्रदेश में कुल कितने लोगों को हिरासत में रखा गया है। मगर सूत्रों ने बताया कि ऐसे लोगों की संख्या काफी है, इसलिए निजी प्रॉपर्टीज को हायर कर इन्हें हिरासत केंद्र में तब्दील किया गया। इनमें छोटे होटल, गेस्ट हाउस, रिहायशी घर भी शामिल हैं।

एक पुलिस अधिकारी ने कहा कि पिछले कुछ दिनों से आतंकी भी शांत हैं और पूरा ध्यान कानून व्यवस्था पर है। जानना चाहिए कि हाल ही में जम्मू-कश्मीर के एडजीपी मुनीर खान ने कहा था कि कुछ लोगों को पब्लिक सेफ्टी एक्ट के तहत हिरासत में लिया गया है, जिसके चलते घाटी में संदिग्धों को सालों तक जेल की सलाखों के पीछे रखा जाता है।