CAA NRC Protest: अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) में सीएए के मुद्दे पर भड़काऊ भाषण देने के आरोप में मथुरा जेल में बंद गोरखपुर के डॉ. कफील खान की पत्नी डॉ. शाबिस्ता खान ने अपने पति की जान को जेल में खतरा होने की आशंका जताई है और उन्हें सुरक्षा दिए जाने की मांग की है। इसके साथ ही शाबिस्ता ने दावा किया कि डॉ. कफिल खान को पुलिस ने पांच दिन तक एक भी दाना खाने के लिए नहीं दिया।
शबिस्ता ने एएनआई से बात करते हुए कहा, “हम उनसे मिलने के लिए मथुरा जेल में गए थे। उन्होंने मुझे बताया कि गिरफ्तारी के बाद जब उन्हें जेल लाया गया था, तब लगतार पांच दिन तक खाने के लिए कुछ भी नहीं दिया गया था। जिस बैरक में उन्हें रखा गया है, वह काफी छोटा है, और 100 से 150 लोग उसमें रखे गए हैं। वहां उनकी जिंदगी को खतरा हो सकता है।”
शाबिस्ता ने इस संबंध में इलाहाबाद उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश सहित कई अधिकारियों को पत्र लिखकर जेल में अपने पति की सुरक्षा की मांग की है। उल्लेखनीय है कि डॉ. कफील राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत 13 फरवरी से मथुरा जेल में बंद हैं।
डॉ. शाबिस्ता खान ने जेल में कफील से मुलाकात के बाद इलाहाबाद उच्च न्यायालय, अपर मुख्य सचिव (गृह विभाग), जेल महानिदेशक, अलीगढ़ एवं मथुरा के न्यायिक एवं प्रशासनिक अधिकारियों को पत्र लिखकर आरोप लगाया है कि उनके पति को जेल में प्रताड़ित किया जा रहा है और उनसे गरिमा के खिलाफ अमानवीय व्यवहार किया जा रहा है।
शाबिस्ता खान ने जेल में डॉ कफील की हत्या की आशंका जताते हुए उनकी सुरक्षा की मांग की है। मथुरा जिला कारागार के वरिष्ठ जेल अधीक्षक शैलेंद्र कुमार मैत्रेय ने इस बारे में कहा, “यह उनका अपना कहना हो सकता है। मुझे इस बारे में कोई जानकारी नहीं है और न ही कोई नया आदेश मिला है। जहां तक जेल में बंद कैदी को विशेष सुरक्षा देने की बात है तो ऐसा कोई प्रावधान जेल मैन्युअल में नहीं है।”
पिछले साल 2 दिसंबर को एएमयू में नए नागरिकता कानून के खिलाफ भड़काऊ भाषण करने के आरोप में गिरफ्तार किए गए गोरखपुर मेडिकल कॉलेज के पूर्व चिकित्सक डॉक्टर कफील खान पर जमानत पर जेल से रिहा होने से ऐन पहले 13 फरवरी को रासुका की कार्रवाई की गई थी। इस तरह उनकी रिहाई के रास्ते फिलहाल बंद हो गए हैं। (भाषा इनपुट के साथ)

