वित्‍त मंत्री अरुण जेटली ने कहा कि बजट 2016-17 का मकसद आर्थिक सुधारों को आगे ले जाते हुए देश के समग्र विकास को बढ़ावा देना है। उन्‍होंने कहा कि सरकार ने बजट में ग्रामीण इलाकों में आधारभूत ढांचे और आमदनी पर विशेष ध्‍यान दिया है। हमारी कोशिश ग्रामीण इलाकों में रोजगार पैदा करने की है, जिससे कि ग्रामीणों के पास पैसा कमाने के एक से अधिक विकल्‍प रहें। टैक्‍स स्‍लैब में कटौती के सवाल पर वित्‍त मंत्री ने कहा कि मिडिल क्‍लास को सब्सिडी नहीं बल्कि सर्विस चाहिए।

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जेटली टैक्‍स स्‍लैब में बदलाव नहीं करने के बारे में कहा, ‘आर्थिक सुधारों का मतलब सिर्फ टैक्‍स स्‍लैब में बदलाव करना नहीं है। अगर करदाता टैक्‍स देना बंद कर देंगे, तो यह देश रुक जाएगा। टैक्‍सपेयर्स को छूट अवश्‍य मिलनी चाहिए, साथ ही कर का दायरा भी।’  वित्‍त मंत्री ने कहा कि पिछले 21 महीने में सरकार ने जो कदम उठाए हैं, वे अपने आप में बहुत बड़े हैं। यही कारण है कि वैश्विक मंदी के इस दौर में भी भारतीय अर्थव्‍यवस्‍था में बढ़ोतरी देखने को मिल रही है। संसद में अटके पड़े GST बिल के बारे में अरुण जेटली ने कहा कि सरकार अपनी ओर से प्रयास कर रही है और उम्‍मीद करती है कि इस प्रकार के बड़े आर्थिक सुधारों में कांग्रेस पार्टी उनकी मदद करेगी।

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