भारतीय जन संचार संस्थान (आईआईएमसी) में पांच पीजी डिप्लोमा पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए ऑनलाइन आवेदन की अंतिम तिथि 18 जून से बढ़ाकर 4 जुलाई कर दी गई है। शैक्षणिक सत्र 2022-23 के लिए ऑनलाइन आवेदन पत्र एनटीए की आधिकारिक वेबसाइट cuet.nta.nic.in/ पर उपलब्ध है।

आईआईएमसी में इस वर्ष कॉमन यूनिवर्सिटीज एंट्रेंस टेस्ट (सीयूईटी पीजी) 2022 के माध्यम से विद्यार्थियों को प्रवेश मिलेगा। अंग्रेजी पत्रकारिता, हिंदी पत्रकारिता, विज्ञापन एवं जनसंपर्क, रेडियो एवं टेलीविजन पत्रकारिता और डिजिटल मीडिया में पीजी डिप्लोमा में प्रवेश के लिए विद्यार्थियों को ‘सीयूईटी पीजी’ परीक्षा देनी होगी। प्रश्न पत्र हिंदी एवं अंग्रेजी भाषा में होगा। परीक्षा में सामान्य ज्ञान और मीडिया एवं संचार के क्षेत्र से जुड़े प्रश्न पूछे जाएंगे।

आईआईएमसी के डीन (अकादमिक) एवं प्रवेश प्रभारी प्रो. गोविंद सिंह ने बताया कि जिन विद्यार्थियों ने CUET का फॉर्म पहले भर दिया था और आईआईएमसी का चुनाव नहीं किया था, ऐसे विद्यार्थी 6 से 8 जुलाई के बीच करेक्शन विंडो खुलने पर भारतीय जन संचार संस्थान का विकल्प चुन सकते हैं।इसके अलावा ओड़िया, मराठी, मलयालम और उर्दू पत्रकारिता में डिप्लोमा कोर्स करने के लिए अलग से परीक्षा का आयोजन आईआईएमसी द्वारा किया जाएगा। इन पाठ्यक्रमों के लिए एप्लीकेशन फॉर्म आईआईएमसी की आधिकारिक वेबसाइट www.iimc.gov.in  पर उपलब्ध हैं।

कौन कर सकता है आवेदन

जिन विद्यार्थियों के पास मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से किसी भी विषय में स्नातक की डिग्री है, वे आईआईएमसी में प्रवेश के लिए आवेदन कर सकते हैं। जो छात्र अपनी स्नातक की डिग्री के अंतिम वर्ष या सेमेस्टर परीक्षा में शामिल हुए हैं या हो रहे हैं, वे भी आवेदन करने के पात्र हैं। चयन होने पर ऐसे विद्यार्थियों को 30 सितंबर 2022 तक अपनी प्रोविजनल मार्कशीट या सर्टिफिकेट की मूल प्रति जमा करानी होगी। इन विद्यार्थियों को पाठ्यक्रम पूरा होने पर केवल तभी डिप्लोमा प्रदान किया जाएगा, जब आईआईएमसी के कार्यालय में सत्यापन के लिए वे मूल डिग्री प्रमाण पत्र प्रस्तुत करेंगे।

ये होगी आयु सीमा

सामान्य श्रेणी के उम्मीदवारों का जन्म 1 अगस्त 1997 को या उसके बाद (1 अगस्त, 2022 को अधिकतम 25 वर्ष) होना चाहिए। ओबीसी श्रेणी के उम्मीदवारों के लिए जन्म तिथि 1 अगस्त 1994 या उसके बाद (1 अगस्त 2022 को अधिकतम 28 वर्ष) की होनी चाहिए। अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति/दिव्यांग उम्मीदवारों के लिए जन्म तिथि 1 अगस्त 1992 या उसके बाद (1 अगस्त, 2022 को अधिकतम 30 वर्ष) की होनी चाहिए।

यूजीसी ने ‘हर घर तिरंगा’ अभियान के बारे में जागरूकता फैलाने को कहा

विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) ने सभी विश्वविद्यालयों व कालेजों से आजादी के ‘अमृत महोत्सव’ को यादगार बनाने के लिए केंद्र सरकार के ‘हर घर तिरंगा’ अभियान के बारे में जानकारी व जागरूकता फैलाने को कहा है। ‘हर घर तिरंगा’ अभियान के तहत स्वतंत्रता दिवस वाले सप्ताह में 11 से 17 अगस्त के बीच देशभर में हर घर पर तिरंगा फहराने की योजना है। इस विषय पर आयोग के सचिव राजनीश जैन ने देश के सभी विश्वविद्यालयों के कुलपतियों और कालेजों के प्रचार्यों को पत्र लिखा है और उनसे नुक्कड़ नाटकों, प्रभात फेरी व निबंध, गायन व चित्रकला प्रतियोगिता का आयोजन करके इसके बारे में जानकारी व जागरूकता फैलाने का आग्रह किया है।

क्यूएस रैंकिंग में 41 भारतीय विश्वविद्यालय

क्वाक्वेरेली साइमंड्स (क्यूएस) की रैंकिंग में बंगलुरु के भारतीय विज्ञान संस्थान (आइआइएससी) को दक्षिण एशिया का सबसे तेजी से उभरता हुआ विश्वविद्यालय बताया गया है। कुल 41 भारतीय विश्वविद्यालयों ने क्यूएस रैंकिंग में स्थान हासिल किया है, जिनमें 12 के रैंक में सुधार हुआ है, 12 की रैंकिंग में कोई बदलाव नहीं हुआ, 10 संस्थानों के रैंक में गिरावट आई, जबकि देश के सात विश्वविद्यालय पहली बार इस सूची में अपनी जगह बनाने में कामयाब हुए हैं।

क्यूएस की ओर से जारी अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालयों की रैंकिंग में भारत के चार आइआइटी संस्थानों ने भी दुनिया के शीर्ष 200 विश्वविद्यालयों की सूची में जगह बनाई है। क्यूएस रैंकिंग की इस सूची में भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइटी) बाम्बे ने पांच पायदान की छलांग लगाते हुए 172वां स्थान हासिल किया है। आइआइटी बाम्बे को भारत का दूसरा सबसे अच्छा संस्थान बताया गया है जबकि आइआइटी दिल्ली ने 11 स्थान ऊपर चढ़ कर 174वां स्थान हासिल किया है।

पश्चिम बंगाल के सभी कालेजों में एक ही पोर्टल से दाखिला

पश्चिम बंगाल के सभी कालेजों में स्नातक स्तर पर एक ही केंद्रीय पोर्टल के माध्यम से दाखिला होगा। जानकारी के मुताबिक उत्तर बंगाल विश्वविद्यालय से लेकर कोलकाता विश्वविद्यालय तक सभी कालेजों में दाखिला एक ही पोर्टल के माध्यम से होगा। इस बारे में ज्यादातर विश्वविद्यालयों के कुलपतियों से बैठक के बाद यह फैसला किया गया है। जुलाई से यह पोर्टल चालू कर दिया जाएगा।