गुजरात एंटी टेररिस्ट स्क्वैड (ATS) ने बुधवार को फारूख भाना को गिरफ्तार कर लिया। फारूख पर आरोप है कि वह साबरमती एक्सप्रेस में हुई आगजनी का मास्टरमाइंड था। बता दें कि 27 फरवरी 2002 को गोधरा में हुई इस वारदात में 59 लोग मारे गए थे। इस घटना के बाद ही गोधरा और गुजरात के दूसरे हिस्सों में दंगे भड़क गए थे। पुलिस के मुताबिक, उसे पंचमहल जिले के कलाेल से गिरफ्तार किया गया। वह यहां छिपकर अपने परिवारवालों से मुलाकात करने वाला था।
अधिकारियों के मुताबिक, भाना कथित तौर पर साबरमती एक्सप्रेस जलाने का मुख्य साजिशकर्ता था। उसने ही गोधरा रेलवे स्टेशन के करीब स्थित फूलन बाजार के अमन गेस्ट हाउस में मीटिंग रखी थी। एटीएस के अधिकारियों के मुताबिक, ‘भाना ने मीटिंग में कहा कि साबरमती एक्सप्रेस लेट होगी और वो सुबह दो बजे के बजाए सात बजे पहुंचेगी। वह उस साजिश का हिस्सा था, जिसके तहत गेस्ट हाउस पर मीटिंग के बाद साबरमती एक्सप्रेस को जलाने के लिए 140 लीटर पेट्रोल खरीदा गया।’ अधिकारियों के मुताबिक, भाना को सुप्रीम कोर्ट की ओर से बनाए गए स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (SIT) को सौंपा जाएगा। एसआईटी ने ही इस मामले की जांच की है।
27 फरवरी 2002 को साबरमती एक्सप्रेस के एस 6 कोच को गोधरा स्टेशन पर एक भीड़ ने आग के हवाले कर दिया। इसमें 59 लोग मारे गए। मारे गए लोगों में अधिकतर कारसेवक थे। एक दिन बाद, पूरे राज्य में सांप्रदायिक दंगे हुए। 2011 में स्पेशल कोर्ट ने इस मामले में 31 लोगों को दोषी करार दिया, जबकि 63 को बरी कर दिया गया। 11 को मौत की सजा हुई, जबकि 20 लोगों को उम्रकैद हुई। भाना इस मामले में फरार चल रहा था। दोषियों ने ट्रायल कोर्ट के फैसले को गुजरात हाई कोर्ट में चुनौती दी थी। हाई कोर्ट में सुनवाई पिछले साल पूरी हो चुकी है और फैसला आना बाकी है।