बच्चे काफी संवेदनशील होते हैं इसलिए उनके मामले में ओवरइंटिगं, तला हुआ भोजन खाना, या लैक्टोज इंटोलरेंस के कारण बच्चों को पेट में दर्द की शिकायत हो सकती है। इसके अलावा, साल के इस समय में मौसमी परिवर्तनों और असंतुलित पित्त या अग्नि तत्वों के कारण बच्चों को पाचन संबंधी रोगों की संभावनाएं अधिक होती हैं। आपके रसोईघर में मौजूद जीरा, हल्दी, नमक और हींग जैसी आसानी से उपलब्ध होने वाली सामग्रियां पेट में होने वाले दर्द को कम कर सकती हैं और विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करती हैं। आइए जानते हैं बच्चों का पेट खराब होने पर आपको क्या करना चाहिए।
पेट खराब होने के कारण:
1. अत्यधिक भोजन करना
2. तला-भुना भोजन
3. कुछ खाद्य पदार्थों से एलर्जी (दूध, अचार)
4. लैक्टोज इंटोलरेंस (डेयरी उत्पादों के लिए)
5. गैस बनाने वाली सब्जियां (फूलगोभी, मूली, गोभी, सेम, ब्रोकोली, आदि)
6. पेट में कीड़ें
7. इरिटेबल बाउल मूवमेंट्स
8. पेचिश
9. दूषित पानी का सेवन
10. पित्त असंतुलन
बचाव के उपाय:
हींग और घी
एक चम्मच हींग और एक चम्मच घी लेकर इसे हल्का गर्म कर लें। इस मिश्रण को बच्चे के पेट पर दिन में चार-पांच बार लगाएं। यह पेट दर्द में आराम दिलाता है।
कैस्टर ऑयल और पान का पत्ता
आधा चम्मच कैस्टर ऑयल लेकर इसे हल्का गर्म कर लें और इसे पेट पर लगाएं। इसके बाद इस पर पान का पत्ता रख दें। कैस्टर ऑयल डाइजेस्टिव सिस्टम को उत्तेजित करता है जिससे पेट का दर्द कम होता है।
जीरा और पानी का काढ़ा
एक लीटर पानी में दो चम्मच जीरा मिला लें। इसे गर्म करके बोतल में भर लें। इस काढ़े को दिनभर बच्चे को थोड़ा-थोड़ा करके पिलाएं।
अदरक और हींग का काढ़ा
ताजा अदरक, हींग और सेंधा नमक लें। इन्हें पानी में मिलाएं और उबाल लें। उबालने के बाद बोतल में इसे भरकर रख लें। घूंट-घूंट करके दिनभर बच्चे को पिलाएं।


