Jawaharlal Nehru Quotes, Speech, Thoughts in Hindi: नेहरू का जन्म कश्मीरी ब्राह्मणों के एक परिवार में हुआ था, जो उनकी प्रशासनिक योग्यता और विद्वता के लिए प्रसिद्ध थे। वे मोतीलाल नेहरू के पुत्र थे, जो एक प्रसिद्ध वकील और भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के नेता थे, जो मोहनदास (महात्मा) गांधी के प्रमुख सहयोगियों में से एक थे। जवाहरलाल चार बच्चों में सबसे बड़े थे, जिनमें से दो लड़कियां थीं। एक बहन, विजया लक्ष्मी पंडित, बाद में संयुक्त राष्ट्र महासभा की पहली महिला अध्यक्ष बनीं। नेहरू को बच्चों से बहुत प्यार था और उनका मानना था कि बच्चे देश के भावी निर्माता हैं। अगर हम अपने भविष्य की रक्षा करना चाहते हैं, तो इन बच्चों का भविष्य बेहतर बनाना हम सभी का कर्तव्य होना चाहिए।
बच्चों के प्रति उनके प्यार को देखते हुए, हमारे देश ने उनके जन्मदिन को बाल दिवस के रूप में पहचानना शुरू किया। इस त्योहार का मुख्य उद्देश्य सभी भारतीय नागरिकों को बच्चों के प्रति जागरूक करना था ताकि सभी नागरिक अपने बच्चों को सही शिक्षा और सही दिशा में दे सकें ताकि एक सुव्यवस्थित और समृद्ध राष्ट्र का निर्माण हो सके, जो केवल अच्छे भविष्य पर निर्भर करता है बच्चों की। यह वह दिन है जिसमें बच्चों के कल्याण के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को नवीनीकृत करने और चाचा नेहरू के आदर्शों पर चलने की शिक्षा देने की याद दिलाता है। बाल दिवस को हर जगह अलग-अलग तरीकों से सेलिब्रेट किया जाता है। मई 1964 में नेहरू जी की मृत्यु के बाद, 14 नवंबर को बाल दिवस मनाया जाने लगा। जवाहर लाल नेहरू के अनमोल वचन को अपने दोस्तों और रिश्तेदारों से जरूर शेयर करें।
1. कोई ऐसा पल जो इतिहास में बहुत कम बार आता है वह है पुराने को छोड़कर नए की तरफ जाना
– जवाहरलाल नेहरु
2. जब तक मुझे खुद लगता है की किया गया काम सही काम है तब तक मुझे संतुष्टि रहती है
– जवाहरलाल नेहरु
3. जो व्यक्ति सफल हो जाता है वह हर चीज फिर शांति और व्यवस्था के लिए चाहता है.
– जवाहरलाल नेहरु
4. जीवन में डर के अलावा खतरनाक और बुरा और कुछ भी नहीं.
– जवाहरलाल नेहरु
5. जब भी हमारे सामने संकट और गतिरोध आते है, उनसे हमें एक फायदा तो होता है कि वे हमें सोचने पर मजबूर करते है
– जवाहरलाल नेहरु
6. एक नेता या जुझारू व्यक्ति संकट के समय हमेशा अपने अवचेतन रूप में कार्य करता है
– जवाहरलाल नेहरु


बाल दिवस आज यानी 14 नवंबर को मनाया जाता है। पर आपको जानकर आश्चर्य होगा कि कभी ये 20 नवंबर को मनाया जाता था। साल 1925 से बाल दिवस मनाया जा रहा है। 1953 में दुनिया भर ने इस दिन को मान्यता दी और संयुक्त राष्ट्र संघ ने 20 नवबंर को बाल दिवस के तौर पर घोषित किया। भारत में भी पहले 20 नवंबर को ही मनाया जाता था, लेकिन 1964 में जब देश के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू का निधन (27 मई 1964) हुआ तो इसके बाद सर्वसम्मति से ये तय हुआ कि चूंकि चाचा नेहरू को बच्चे बहुत पसंद थे इसलिए उनके जन्मदिन यानी 14 नवंबर को ही बाल दिवस के तौर पर मनाया जाएगा।
पं. जवाहर लाल नेहरू ने लखनऊ की जेल में रहकर डिस्कवरी आफ इंडिया समेत कई पुस्तकें लिखी थीं। इस दौरान उन्हें कैदी नं0 4126 के नाम से जाना जाता था। उन्होंने क्रांतिकारियों के साथ मिलकर इसी जेल से अंग्रेजों के खिलाफ आजादी की जंग छेड़ी थी।
पं. नेहरू कहते थे—
सत्य हमेशा सत्य ही रहता हैं चाहे आप पसंद करें या ना करें।
हर हमलावर देश की यह दावा करने की आदत होती है कि यह कार्य वह अपनी रक्षा के लिए कर रहा है
- जवाहरलाल नेहरु
किसी को सुझाव देना और बाद में हमने जो कहा उसके नतीजे से बचने की कोशिश करना बेहद आसान है
- जवाहरलाल नेहरु