देश की सर्वोच्च न्यायालय ने कुश्ती संघ के चुनाव पर लगी रोक को हटा दिया है। न्यायालय ने पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट के फैसले को पलटते हुए चुनाव पर लगी रोक को हटाने का आदेश दिया है। उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को भारतीय कुश्ती महासंघ के चुनाव कराने पर लगी रोक को खारिज कर दिया। जस्टिस अभय एस ओका और जस्टिस पंकज मित्तल की बेंच ने कहा कि वो यह नहीं समझ पा रहे कि उच्च न्यायालय ने चुनाव की पूरी प्रक्रिया के महत्व को कैसे नहीं समझा।
बेंच ने कहा, ‘‘हरियाणा कुश्ती संघ द्वारा दायर एक रिट याचिका लंबित होने पर उच्च न्यायालय ने एक अंतरिम आदेश में डब्ल्यूएफआई के चुनाव पर रोक लगा दी। हमें यह बात समझ नहीं आ रही कि उच्च न्यायालय द्वारा इस पूरी चुनावी प्रक्रिया के महत्व को कैसे समझा नहीं गया। उचित यही होता कि चुनाव कराने की अनुमति दी गयी होती और चुनाव को लंबित रिट याचिका के नतीजे के अधीन किया जाता। ’’
बेंच ने अपने आदेश में आगे कहा,‘‘इसी के अनुसार अंतरिम राहत देने वाले विवादित आदेश को रद्द किया जाता है। निर्वाचन अधिकारी संशोधित चुनाव कार्यक्रम तैयार करके चुनाव को आगे बढ़ा सकता है। हम स्पष्ट करते हैं कि चुनाव का नतीजा याचिका में पारित आदेश के अधीन होगा। ’’
उच्चतम न्यायालय ने पहले डब्ल्यूएफआई का कार्यभार संभालने के लिए गठित तदर्थ समिति की पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय द्वारा कुश्ती संस्था के चुनाव कराने पर लगायी रोक को चुनौती देने वाली याचिका पर केंद्र और अन्य से जवाब मांगा था। तदर्थ पैनल ने 25 सितंबर को उच्च न्यायालय के चुनावों पर रोक लगाने के आदेश के खिलाफ उच्चतम न्यायालय का रूख किया था।