पालम स्थित एयर फोर्स स्पोर्ट्स कॉम्पलेक्स मैदान पर शुक्रवार (3 नवंबर) को रणजी ट्रॉफी मैच के दौरान सुरक्षा की भारी चूक सामने आई। इस मैदान पर ग्रुप-ए में दिल्ली और उत्तर प्रदेश के बीच मैच जारी था, तभी बीच मैदान में एक शख्स कार लेकर घुस आया। वेबसाइट ईएसपीनक्रिकइंफो के मुताबिक, इस शख्स ने अपना नाम गिरीश शर्मा बताया। इसका कहना है कि इसने किसी तरह की सुरक्षा नहीं देखी और गलती से मैदान में आ गया। इसने अंपायरों और खिलाड़ियों के रोकने के बाद भी उनकी बात नहीं सुनी। इस मैच में सुरेश रैना, गौतम गंभीर, ईशांत शर्मा और ऋषभ पंत जैसे अंतर्राष्ट्रीय खिलाड़ी खेल रहे हैं।

ईशांत शर्मा ने ट्वीट किया, ‘‘आज रणजी मैच के दौरान दिल दहलाने वाला दृश्य जिसमें गौतम गंभीर साथ में इसका गवाह बना।’’ बीसीसीआई अपनी मान्यता प्राप्त इकाई सेना खेल संवर्धन बोर्ड (एसएससीबी) इस घटना की रिपोर्ट मांगेगा। यह पता चला है कि वायुसेना मैदान में कारों को ले जाने की अनुमति पूरी जांच के बाद दी जाती है लेकिन सुरक्षाकर्मी के गेट पर खड़ा नहीं होने से यह घटना घटी। कार चालक ने परिसर में घुसकर कार को पार्किंग स्थल में ले जाने की जगह खेल के मैदान में घुसा दिया। अचानक हुई इस घटना से खिलाड़ी स्तब्ध रह गए। वायुसेना पुलिस ने संदिग्ध को हिरासत में लेकर पूछताछ के लिए दिल्ली पुलिस को सौंप दिया।

बीसीसीआई के कार्यकारी अध्यक्ष सीके खन्ना ने पीटीआई से कहा, ‘‘बीसीसीआई इस घटना की जांच करेगी। संबंधित विभाग सेना खेल संवर्धन बोर्ड से संपर्क करेगा क्योंकि यह गंभीर चिंता का विषय है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘यह सुरक्षा में चूक एसएसीबी के मैदान पर हुई है। जरा सोचिए, अगर इस व्यक्ति की कोई गलत भावना होती तो अंतरराष्ट्रीय क्रिकेटरों की जान खतरे में पड़ सकती थी।’’ दिल्ली टीम के मैनेजर शंकर सैनी मैदान पर मौजूद थे, उन्होंने कहा, ‘‘भगवान का शुक्र है कि कुछ अप्रिय घटना नहीं हुई। यह और गंभीर भी हो सकता था।’’ दिल्ली पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार इसमें शामिल किसी भी पक्ष ने इस चालक के खिलाफ आधिकारिक शिकायत दर्ज नहीं कराई है।

इस अधिकारी ने पीटीआई से कहा, ‘‘कोई भी आधिकारिक शिकायत दर्ज नहीं की गई है। शुरूआती जांच में पता चला है कि एयरफोर्स सुरक्षा का गार्ड गेट पर मौजूद नहीं था। हमने इस व्यक्ति को पूछताछ के लिये हिरासत में लिया है जिसकी पहचान गिरीश नाम से हुई है। वह 30 वर्ष का है और किसी निजी फर्म में काम करता है। वह मानसिक रूप से परेशान दिख रहा था।’’ मैदान पर मौजूद डीडीसीए के एक अधिकारी ने कहा, ‘‘वह बहुत परेशान दिख रहा था। वह लुंगी पहनकर कार चला रहा था। बल्कि जब उसे इस घटना के लिए डांटा गया तो उसने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी। उसकी मानसिक स्थिति ठीक नहीं लग रही थी।’’

 

यह घटना शाम 4:40 बजे हुई जब मैच खत्म होने में 20 मिनट का समय बाकी था। इस विवाद के बाद अंपायरों ने आधे घंटे देर बाद दिन का खेल खत्म करने की घोषणा की। मैच रेफरी ने पिच का मुआयना करने के बाद इस पर खेलने की अनुमति दी। घटना के समय उत्तर प्रदेश की टीम बल्लेबाजी कर रही थी। दिल्ली का यह मैच फिरोज शाह कोटला स्टेडियम पर होना था, लेकिन उस मैदान को भारत और न्यूजीलैंड के बीच खेले गए पहले टी-20 मैच के लिए चुना गया और इसी कारण यह मैच पालम मैदान पर स्थानांतरित किया गया।