टोक्यो ओलंपिक में भारत के जैवलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा ने शनिवार को इतिहास रच दिया है। नीरज ने 13 साल बाद ओलंपिक में भारत को गोल्ड मेडल दिलाया है। उन्होंने फाइनल राउंड में नंबर एक स्थान पर रहकर भाला फेंक स्पर्धा का स्वर्ण पदक अपने नाम किया।
नीरज इसी के साथ ट्रैक एंड फील्ड इवेंट में भारत के लिए ओलंपिक में मेडल जीतने वाले पहले एथलीट बन गए हैं। इससे पहले भारत ने ओलंपिक इतिहास में कभी भी ट्रैक एंड फील्ड इवेंट में स्वर्ण पदक नहीं जीता था।
भारत को इससे पहले 2008 के बीजिंग ओलंपिक में शूटर अभिनव बिंद्रा ने गोल्ड मेडल दिलाया था। उसके बाद आज नीरज चोपड़ा ने 13 साल के इंतजार को खत्म करते हुए भारत के लिए इतिहास रच दिया है।
That swagger #NeerajChopra pic.twitter.com/dcDPnip54J
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फाइनल राउंड में नीरज के आसपास भी कोई खिलाड़ी नहीं देखने को मिला। इस स्पर्धा के पहले थ्रो में नीरज ने जहां 87.3 मीटर तक थ्रो फेंक कर नंबर एक पोजीशन बना ली थी। वहीं दूसरे थ्रो में उन्होंने इससे भी ज्यादा 87.58 मीटर तक थ्रो फेंक कर अपनी स्वर्ण पदक की पकड़ को और मजबूत किया। हालांकि तीसरा थ्रो उनका खास नहीं रहा और चौथे अटेम्पट में उन्होंने फाउल कर दिया था।
#NeerajChopra
Second attempt is also brilliant 87.58.
Gold is Coming…jai hind pic.twitter.com/kx5RNq3QwU— SMES_India (@india_smes) August 7, 2021
इसी के साथ भारत ने 2012 लंदन ओलंपिक को पीछे छोड़ते हुए टोक्यो ओलंपिक में अपना 7वां मेडल जीत लिया है। भारत ने लंदन ओलंपिक में 6 मेडल अपने नाम किए थे। ये ओलंपिक इतिहास में भारत का 10वां गोल्ड मेडल है। इससे पहले भारत ने 8 गोल्ड हॉकी में (1928,1932,1936,1948,1952,1956,1964,1980), एक शूटिंग (2008) और अब एक जैवलिन थ्रो में अपने नाम कर लिया है।
गौरतलब है कि टोक्यो ओलंपिक में भारत के लिए नीरज चोपड़ा से पहले मीराबाई चानू और रेसलर रवि दहिया ने सिल्वर मेडल अपने नाम किया था। इसके अलावा पीवी सिंधू, बजरंग पूनिया और भारतीय पुरुष हॉकी टीम ने ब्रॉन्ज मेडल जीता था।