भारत के तेज गेंदबाज मोहम्मद सिराज ने इस साल की शुरुआत में इंग्लैंड के खिलाफ आखिरी टेस्ट में गेंदबाजी करने के अपने फैसले पर खुलकर बात की। इस टेस्ट मैच में उन्होंने टीम को ऐतिहासिक जीत दिलाई थी और शुभमन गिल की कप्तानी वाली टीम ने तेंदुलकर एंडरसन ट्रॉफी 2-2 से बराबर की थी। सिराज ने हाल ही में द इंडियन एक्सप्रेस से आइडिया एक्सचेंज में बताया कि यह उनके लिए भगवान की ओर से लिखी गई पटकथा थी।
सिराज ने इंग्लैंड दौरे में लिए थे 23 विकेट
मोहम्मद सिराज ने यह भी खुलासा किया कि सीरीज के दौरान मैदान पर अपनी आक्रामकता बनाए रखने के लिए उन्होंने जानबूझकर इंग्लैंड के दिग्गज खिलाड़ी जो रूट से बात करने या उन्हें देखने से परहेज किया। मोहम्मद सिराज ने इंग्लैंड के खिलाफ सीरीज में 23 विकेट लिए थे, जो दोनों टीमों के किसी भी गेंदबाज द्वारा लिए गए सबसे ज्यादा विकेट थे। इनमें से नौ विकेट उन्होंने आखिरी टेस्ट मैच में लिए थे।
मोहम्मद सिराज ने पांचवें टेस्ट के आखिरी दिन की शुरुआत में ही माहौल बना दिया, जहां वह सीरीज के शुरुआती कुछ दिल तोड़ने वाले पलों के बाद हीरो बन गए, जैसे कि पांचवें टेस्ट के चौथे दिन हैरी ब्रुक का कैच लेने के बाद बाउंड्री छू लेना और लॉर्ड्स टेस्ट में बोल्ड होना।
भगवान की लिखी गई पटकथा थी: सिराज
मोहम्मद सिराज ने बताया, ‘यह मेरे लिए कहीं ऊपर से लिखी गई एक पटकथा थी। लॉर्ड्स में बोल्ड होने से (वह टेस्ट जिसमें भारत हार गया था), फिर ओवल पहुंचना। फिर मैंने एक कैच (हैरी ब्रुक का) लिया और बाउंड्री को छुआ। सब कुछ मेरे लिए लिखा हुआ था। यह भगवान की ओर से लिखी गई एक पटकथा थी। जब मैं उस आखिरी सुबह उठा, तो उन्हें 35 रनों की जरूरत थी।’
ईश्वर ने लिखा था- जा तू हीरो बन जा
सिराज ने बताया, ‘मैंने खुद से कहा कि यह खेल एक घंटे से ज्यादा नहीं चलेगा और मैं यह मैच जीत जाऊंगा। मैच सुबह 11 बजे शुरू होना था और टीम बस सुबह 9 बजे तक निकल जाएगी। मैं सुबह 6 बजे उठा! मैंने खुद से पूछा- मैं आज इतनी जल्दी क्यों उठ गया? मैं अचानक उठा था। उसके बाद, मैंने लिखा- मैं यह कर सकता हूं, मैच जीत सकता हूं। जब गेंद मेरे हाथ से निकली, तो मैंने वैसा ही किया जैसा मैं सोच रहा था; यह एक अच्छा संकेत है। ईश्वर ने लिखा था- ‘जा तू हीरो बन जा।’
जो रूट हैं विश्वस्तरीय बल्लेबाज
सिराज ने रूट की इस टिप्पणी पर भी प्रतिक्रिया दी कि वह मैच के दौरान अपना गुस्सा दिखाते हैं। सिराज ने हंसते हुए बताया, ‘नहीं, नहीं मुझे गुस्सा आता है और यह जल्दी से खत्म नहीं होता। विकेट मिलने के बाद ही मेरा गुस्सा गायब होता है। जहां तक जो रूट की बात है, वह एक विश्वस्तरीय बल्लेबाज हैं। जब वह मेरा सामना करते हैं, तो वह कभी भी मेरी तरफ गुस्से से नहीं देखते। वह मुझे देखकर मुस्कुराते रहते हैं, इसलिए जब भी मैं उन्हें देखता हूं, मेरे चेहरे पर अपने आप मुस्कान आ जाती है।’
सिराज ने बताया, ‘वह पहले व्यक्ति हैं जो मुझे देखकर शांत रहते हैं और मुस्कुराते हैं, इसलिए इंग्लैंड दौरे के दौरान मैंने फैसला किया कि मैं उनकी तरफ नहीं देखूंगा और उनसे बात नहीं करूंगा। अगर वह नॉन-स्ट्राइकर एंड पर होते और मैं मिड-ऑफ पर फील्डिंग कर रहा होता तब भी वह मुझसे बात करने आते, लेकिन मैं उनसे बात नहीं करता। मैं बस कहीं और चला जाता।’ इंग्लैंड के खिलाफ 5वें मैच में नहीं खेलते सिराज, ‘मियां भाई’ ने आराम लेने के किया मना, कहा- एक और टेस्ट खेल लेता