मुंबई में सोमवार को अंधेरी रेलवे स्टेशन पर एक युवक ने कार चढ़ा दी थी। इसके बाद आरोपी चालक को गिरफ्तार कर लिया गया था। मीडिया में खबरें आई कि गिरफ्तार किया गया चालक मुंबई का लेफ्ट आर्म स्पिनर हरमीत सिंह है। लेकिन कई सोशल मीडिया साइट्स पर हरमीत सिंह की जगह मध्य प्रदेश के बल्लेबाज हरप्रीत सिंह का नाम लिख दिया गया। इसका सीधा असर यह हुआ कि टी-20 में बेहतरीन प्रदर्शन करने वाले हरप्रीत सिंह को किसी आईपीएल फ्रेचाइजी ने नहीं खरीदा।

दरअसल सोमवार (20 फरवरी) को बेंगलुरु में आईपीएल की 10वें सीजन के लिए खिलाड़ियों की बोली लगाई गई। इस दौरान कई खबरों में बताया गया कि हरप्रीत को मुंबई के अंधेरी रेलवे स्टेशन पर कार चढ़ा देने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। हालांकि असल में गिरफ्तार किया गया क्रिकेटर हरमीत सिंह था। बाद में इस गलती को सुधारा भी गया, लेकिन तब तक देर हो चुकी थी। नीलामी के दौरान हरप्रीत सिंह को किसी ने नहीं खरीदा और आईपीएल फ्रेंचाइजी के प्रतिनिधि ने बताया कि इसके पीछे की वजह एक गलत ट्वीट था, जो उन्होंने नीलामी के दौरान देखा। मध्यप्रदेश के बल्लेबाज हरप्रीत ने मुश्ताक अली ट्रॉफी में 52.75 के धमाकेदार औसत से सबसे ज्यादा 211 रन बनाए। मुंबई में खेले गए टूर्नामेंट में उनके प्रदर्शन से मुंबई इंडियंस टीम प्रबंधन प्रभावित था और उन्हें लेने का इच्छुक भी।

एक फ्रेंचाइजी के अधिकारी ने कहा, “हम उसे खरीदना चाहते थे, लेकिन जैसी ही हरप्रीत के गिरफ्तार होने की खबर आई हमने अपना फैसला बदल दिया। इससे फ्रेंचाइजी की गलत इमेज बनती। लेकिन नीलामी खत्म होने के बाद पता लगा कि वह हरप्रीत नहीं हरमीत था।” हरप्रीत (25) और हरमीत (24) दोनों ही खिलाड़ी जूनियर वर्ल्ड कप में भारत की ओर से खेल चुके हैं। हालांकि उसके बाद से ही दोनों की राह अलग-अलग हो गई थी। जहां हरमीत सिंह को मुंबई की टीम में जगह तक नहीं मिल सकी, वहीं हरप्रीत सिंह मध्य प्रदेश टीम के मुख्य खिलाड़ी और घरेलु क्रिकेट में लगातार अच्छा प्रदर्शन करने वाले खिलाड़ी के रूप में उभरे।