ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ धर्मशाला टेस्ट में डेब्यू कर कुलदीप यादव ने इतिहास रच दिया है। वे टेस्ट क्रिकेट खेलने वाले भारत के 288वें खिलाड़ी बन गए हैं। लेकिन पहले बाएं हाथ के चाइनामैन गेंदबाज हैं जो भारत का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। वहीं भारतीय उपमहाद्वीप से श्रीलंका के लक्षण रंगिका के बाद दूसरे चाइनामैन गेंदबाज हैं। 22 साल के इस गेंदबाज को पूर्व क्रिकेटर लक्ष्मण शिवरामाकृष्णन ने टेस्ट कैप सौंपी। कुलदीप से पहले वेस्ट इंडीज के एलिस एचॉन्ग व सर गारफील्ड सोबर्स, दक्षिण अफ्रीका के पॉल एडम्स व तबरेज शम्सी, ऑस्ट्रेलिया के ब्रेड हॉग, इंग्लैंड के जॉनी वार्डले और श्रीलंका के लक्षण संदकन टेस्ट क्रिकेट खेल चुके हैं।
ऑस्ट्रेलिया के डेविड वार्नर को आउट कर कुलदीप यादव ने अपना पहला टेस्ट विकेट लिया। भारतीय टीम के कार्यवाहक कप्तान अजिंक्य रहाणे ने यह कैच लपका। इस विकेट के बाद यादव भावुक हो गए। हवा में उछलकर जश्न मनाने के बाद वे काफी देर तक रहाणे के गले लगे रहे। इस विकेट के गिरने के बाद ऑस्ट्रेलिया की रन गति पर भी अंकुश लग गया। कुलदीप ने पीटर हैंड्सकॉम्ब और ग्लेन मैक्सवेल को भी आउट किया। कुलदीप के पिता राम सिंह यादव ईंटों का भट्टा चलाते हैं। शुरू में कुलदीप तेज गेंदबाज बनना चाहते थे लेकिन कोच के कहने के बाद उन्होंने स्पिन को अपना लिया।
कुलदीप यादव 2014 में अंडर-19 वर्ल्ड कप खेल चुके हैं। इस प्रतियोगिता में उन्होंने 16.42 की औसत से 14 विकेट लिए थे और सबसे आगे रहे थे। वे अंडर-19 क्रिकेट में हैट्रिक लेने वाले पहले गेंदबाज हैं। अपने पहले रणजी सीजन में उन्होंने 16 विकेट लिए थे। अगले ही साल उन्होंने 52 विकेट झटके। इस प्रदर्शन के बूते उन्हें आईपीएल के लिए कोलकाता नाइट राइडर्स ने अपनी टीम में शामिल कर लिया। नवंबर 2014 में कुलदीप को वेस्ट इंडीज के खिलाफ वनडे सीरीज के लिए टीम इंडिया में चुना गया था। फर्स्ट क्लास क्रिकेट में उन्होंने 22 मैच में 81 विकेट लिए हैं। उनका सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 79 रन देकर छह विकेट हैं।