एलन मस्क ट्विटर (Twitter) के नए मालिक बन गए हैं। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म खरीदने के बाद उन्होंने कंपनी के सीईओ (मुख्य कार्यकारी अधिकारी) पराग अग्रवाल, मुख्य वित्तीय अधिकारी नेड सहगल और कानूनी मामलों और नीतियों की प्रमुख विजया गाड्डे को बाहर का रास्ता दिखाया है। एलन मस्क द्वारा हटाए गए इन नामों में से एक विजया गाड्डे का नाम सोशल मीडिया पर काफी चर्चा में है। 

कौन हैं विजया गाड्डे ? 

विजया गाड्डे की गिनती ट्विटर एक्जीक्यूटिव टीम की सबसे प्रभावशाली महिलाओं में थी। वह कंपनी की नीतियों और कानूनी मामलों से जुड़े मुद्दों को संभाल रही थीं। गाड्डे पहली बार तब चर्चा में आई थीं जब उन्होने पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के ट्विटर अकाउंट को बैन करने का फैसला लिया था। एलन मस्क ने कुछ वक़्त पहले विजया गाड्डे को लेकर कई आलोचनात्मक ट्वीट्स भी किए थे।

गाड्डे, हैदराबाद में पैदा हुईं और टेक्सास में पली बढ़ीं हैं। वह कॉर्नेल यूनिवर्सिटी और न्यूयॉर्क यूनिवर्सिटी स्कूल ऑफ लॉ से स्नातक हैं। साल 2011 में ट्विटर से जुड़ने से पहले वह जुनिपर नेटवर्क्स में वरिष्ठ निदेशक और एसोसिएट जनरल काउंसलर कॉर्पोरेट के तौर पर काम कर रही थीं।

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गाड्डे से क्यों ख़फा थे मस्क? 

एलन मस्क के Twitter खरीदते ही विजया गाड्डे का ट्विटर के शीर्ष पद से हटाया जाना तय माना जा रहा था। इसके पीछे कई वजहें हैं। ट्विटर की पॉलिसी प्रमुख रहते हुए गाड्डे ने पिछले कुछ वक़्त में कई बड़े फैसले लिए थे, जिनमें डोनाल्ड ट्रम्प के अकाउंट बैन का मामला भी शामिल है। इसके अलावा गाड्डे ने अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन के बेटे हंटर बाइडेन के लैपटॉप पर की गई एक एक्सक्लूसिव स्टोरी की वजह से न्यूयॉर्क पोस्ट के अकाउंट को सस्पेंड कर दिया था। इस मसले पर उनकी आलोचना करने वालों में एलन मस्क भी शामिल थे। 

मस्क ने विजया की आलोचना करते हुए उनपर झूठी जानकारियों के जरिए उन्हें गुमराह करने का आरोप भी लगाया था। उधर, मस्क ने मई में कहा था कि वह ट्विटर द्वारा डोनाल्ड ट्रम्प पर लगाए गए प्रतिबंध को उलट देंगे। हालांकि पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प ने इस मंच पर वापस नहीं आने की बात कही थी।