ऋषि सुनक ने आधिकारिक रूप से ब्रिटेन के प्रधानमंत्री का पद संभाल लिया है। वह ब्रिटेन के इस शीर्ष राजनीतिक पद तक पहुंचने वाले पहले गैर-श्वेत नेता हैं। भारतीय मूल के ऋषि सुनक विदेश में पैदा होने और पढ़ने-लिखने के बावजूद खुद को प्राउड हिंदू कहते हैं। वह अपने धार्मिक विश्वास और उससे जुड़े रिवाजों का सार्वजनिक प्रदर्शन भी करते हैं। उनकी कई ऐसी तस्वीर हैं, जिनमें उन्हें मंदिर में पूजा करते, कलावा बंधवाते और गाय की सेवा करते देखा जा सकता है।

2017 के आम चुनाव के बाद सुनक ने ब्रिटिश संसद में श्रीमद्भगवद्गीता की शपथ ली थी। कोरोना महामारी की पहली लहर के बीच उन्हें दिवाली की मोमबत्ती जलाते देखा गया था। यही वजह है कि सुनक की जीत से भारतीयों के एक वर्ग में भी उत्साह है।

हालांकि एक ब्रिटिश नेता के तौर पर उनकी कई ऐसी प्रतिबद्धताएं हैं, जिससे भारत में रहने वाले हिंदुओं का मन खट्टा कर सकता है। भारत में हिंदुओं का एक वर्ग  गाय को पवित्र और पूजनीय मानता है। लेकिन सुनक लोकल बीफ बिजनेस को बचाने और बढ़ाने के हिमायती हैं। तमाम तरह के मवेशियों के मांस को बीफ कहा जाता है।

बीफ बिजनेस और ऋषि सुनक

जुलाई 2022 में ब्रिटेन के पीएम पद के लिए कैंपेन करते हुए ऋषि सुनक The Telegraph को इंटरव्यू दिया था। उससे पता चलता है कि हिंदू धर्म को मानने वाले सुनक खुद तो बीफ नहीं खाते हैं। लेकिन अपने देश में लोकल फूड खरीदने के लिए कैंपेन चलाएंगे। फूड सिक्योरिटी समिट का आयोजन करेंगे, साथ ही मीट खाने के फायदे भी बताएंगे।

सुनक कहते हैं, ”ग्रामीण निर्वाचन क्षेत्र से सांसद के रूप में चुने जाने की वजह से मैं जानता हूं कि प्राकृतिक वातावरण का संरक्षण करना कितना जरूरी है। मेरे क्षेत्र के किसान, बीफ और लैम्ब मीट के लिए जानवरों को पालते हैं। मैं उनकी मदद के लिए प्रतिबद्ध हूं। मैं हमेशा अपने किसानों का समर्थन करूंगा।”

ब्रिटेन की बीफ इंडस्ट्री को प्रमोट करने की अपनी मंशा व्यक्त करने के बाद कहते हैं, ”लोग क्या खाएंगे, यह चुनने का विकल्प उनके पास होना चाहिए। मैं एक ऐसी सरकार का नेतृत्व करूंगा, जो हमारे किसानों को देश और विदेश में चैंपियन बनाए।”