हाल ही मोटापे से ग्रस्त 12 साल के इंडोनेशियाई लड़के की खबर ने पूरी दुनिया में सुर्खियां बटोरी थी। उसका वजन 10 साल की उम्र में करीब 190 किलो था। 10 साल की उम्र में दुनिया के सबसे मोटे लड़के का खिताब उसे मिला था। लेकिन अब अब ये टाइटल उससे छिन चुका है और उसने अपना आधा वजन कम कर लिया है। हम बात कर रहे हैं आर्या पेरमाना की। वह इंडोनेशिया के पश्चिमी जावा के कारावांग का रहने वाला है। वह मोटापे से इतनी बुरी तरह प्रभावित था कि दिन में ज्यादातर वक्त वह सिर्फ लेटा रहता था, जबकि उसे दिन में एक वक्त सिर्फ पांच मिनट चलने के लिए भी संघर्ष करना पड़ता था।
सर्जरी ने बचाई बच्चे की जान : साल 2017 के अप्रैल में डॉक्टरों ने मोटापे के कारण आर्या की जान को खतरा बताया था। उसकी जान बचाने के लिए डॉक्टरों ने पांच घंटे लंबा गैस्ट्रिक स्लीव आॅपरेशन किया था। ये आॅपरेशन उसे जरूरत से ज्यादा खाने से रोकने के लिए किया गया था। सर्जरी से पहले इंडोनेशिया के वर्ल्ड रिकॉर्ड म्यूजियम ने उसे दुनिया के सबसे मोटे लड़के होने का खिताब दिया था। दो साल बाद जकार्ता के ओम्नी अस्पताल के डॉक्टरों ने आॅपरेशन के जरिए उसके पेट के बड़े हिस्से को निकाल दिया है। अब आर्या अपने स्कूल जा सकता है। चल—फिर सकता है। आर्या बताता है कि आॅपरेशन के बाद अब सिर्फ छह चम्मच खाने से भी उसका पेट भर जाता है। मेरी भूख मर चुकी है। डॉक्टर मुझे मिठाई, खाना और सॉफ्ट ड्रिंक लेने से रोकते हैं। अब मैं फुटबॉल खेल सकता हूं और हर रोज स्कूल जा सकता हूं।
मां-बाप के प्यार ने दिया मोटापा : आर्या एक स्मार्ट और जोशीला लड़का था। लेकिन बाद में वह इस कदर मोटा हो गया कि उसका चलना—फिरना भी कठिन होता चला गया। वह स्कूल भी नहीं जाता था और ट्यूशन अपने घर पर ही पढ़ा करता था। आर्या के पिता एड सिक्योरिटी गार्ड हैं। एड ने बताया कि मैं अपने अंधे प्यार में बेटे को सिर्फ खिलाता चला गया, बिना इस बात का ध्यान दिए कि खाने का प्रभाव उसके ऊपर क्या पड़ रहा है? सर्जरी से पहले वह दिन में पांच बार खाना खाता था। खाने में दो पैकेट नूडल्स, दो अंडे, आधा किलो चिकन और चावल शामिल था। ये खाना वह दिन में चार से छह बार खाया करता था। आर्या इतना भूखा था कि वह अपनी उम्र के छह बच्चों के बराबर खाना खाया करता था। आर्या की मां ने बताया कि आर्या जब पैदा हुआ था। तब वह करीब 3.7 किग्रा का था। लेकिन पांच साल का होते ही उसने वजन गेन करना शुरू कर दिया। सिर्फ चार सालों में ही उसका वजन 127 किलो हो गया। नौ साल की उम्र में ही आर्या का बड़ा आकार पूरी दुनिया की सुर्खियां बन गया।
क्या है गैस्ट्रिक स्लीव आॅपरेशन: डॉक्टरों ने आर्या की स्थिति को दुनिया में मोटापे के सबसे कठिन मामलों में से एक माना था। इस आॅपरेशन में मोटापे से ग्रस्त शख्स के पेट में चीरा लगाकर चर्बी का बड़ा हिस्सा निकाल दिया जाता है। इसमें कुछ आंतरिक हिस्से को केले जैसे आकार दिया जाता है ताकि मरीज को दिन भर उसका पेट भरा हुआ महसूस हो। इस प्रक्रिया में मरीज के भोजन और व्यायाम को मिलाकर तुरंत ही वजन कम किया जा सकता है। इस प्रकिया में मरीज को पेट में शुरूआत में कुछ दर्द और सूजन महसूस हो सकती है। ये भी हो सकता है कि मरीज के छोटे से पेट में विटामिन और मिनिरल्स जरूरी मात्रा में अवशोषित न हो सकें। अब आर्या रोज करीब 12 मिनट की सैर पर जाता है, 15 मिनट तैराकी करता है। उसका इरादा अब 50 किलो और वजन कम करने का है।