Artemis-1 Launch: अमेरिकी स्पेस एजेंसी नासा ने अपने आर्टेमिस-1 (Artemis-1) मिशन की लॉन्चिंग को फिर से रद्द कर दिया है। वैज्ञानिकों को लॉन्च से कुछ घंटे पहले ही रॉकेट में फ्यूल लीकेज का पता चला। इसके पहले भी फ्यूल लीकेज और इंजन में गड़बड़ी के कारण इस रॉकेट की लॉन्चिंग टाली जा चुकी है। NASA जल्द ही तीसरी बार आर्टेमिस-1 मिशन को लॉन्च करने की कोशिश कर सकता है।
NASA के मून मिशन Artemis 1 की लॉन्चिंग को 3 सितंबर 2022 को दोबारा टाल दिया गया है। अगली बार ये कब होगी इसके लिए नासा ने फिलहाल कोई बयान जारी नहीं किया है। आर्टेमिस-1 मिशन की लॉन्चिंग फ्लोरिडा के कैनेडी स्पेस सेंटर से होने वाली थी। इसके तहत स्पेस लॉन्च सिस्टम रॉकेट और ऑरियन कैप्सूल को 42 दिनों के मिशन के लिए चंद्रमा के करीब भेजा जाना था।
NASA ने किया ट्वीट: इस बारे में जानकारी देते हुए नासा ने अपने ट्विटर अकाउंट पर लिखा, “आर्टेमिस-I मून मिशन स्थगित कर दिया गया है। टीमों ने रॉकेट में ईंधन ट्रांसफर करने वाले हार्डवेयर में रिसाव से संबंधित एक समस्या को ठीक करने की कोशिश की, लेकिन असफल रहे।” नासा के लिए यह मिशन इसलिए महत्वपूर्ण है क्योंकि आर्टेमिस के जरिए इंसान 50 सालों के बाद चंद्रमा पर वापसी करने जा रहा है।
दूसरी बार टली लॉन्चिंग: नासा ने कहा है कि हमारे वैज्ञानिक रिसाव की समस्या को खत्म करने की कोशिश कर रहे हैं। इससे पहले 29 अगस्त 2022 को भी इसी वजह से रॉकेट की लॉन्चिंग रोक दी गई थी। Artemis 1 मून मिशन के दोबारा लॉन्च करने का विंडो भारतीय समयानुसार 3 सितंबर 2022 की रात 11.47 बजे से लेकर अगले दो घंटे तक था। फिलहाल रॉकेट के कोर स्टेज से हो रहे लिक्विड हाइड्रोजन रिसाव की वजह से लॉन्चिंग को रोक दिया गया है।
नासा का आर्टेमिस-1 मिशन 50 सालों के बाद मनुष्यों को चंद्रमा तक ले जाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। यह अंतरिक्ष यान चंद्रमा तक जाएगा, कुछ छोटे उपग्रहों को कक्षा में छोड़ेगा और खुद कक्षा में स्थापित हो जाएगा। नासा का उद्देश्य अंतरिक्ष यान के परिचालन की ट्रेनिंग हासिल करना और चंद्रमा के आसपास अंतरिक्ष यात्रियों द्वारा अनुभव किए जाने वाले हालात की जांच करना है।
नए तरह का रॉकेट है Artemis-1: यह नई तरह की रॉकेट प्रणाली है क्योंकि इसके मुख्य इंजन दोनों तरल ऑक्सीजन और हाइड्रोजन प्रणाली का सम्मिश्रण है, साथ ही अंतरिक्ष यान से प्रेरणा लेकर दो ठोस रॉकेट बूस्टर भी लगे हैं। यह वास्तव में अंतरिक्ष यान (स्पेस शटल) और अपोलों के सैटर्न पंचम रॉकेट को मिलाकर तैयार हाइब्रिड स्वरूप है।