20 जुलाई को रायसीना की रेस खत्म हो गई। कल रेस खत्म हुई और आज जियो ने इंटरनेट की रेस(स्पीड) बढ़ाने के लिए 4जी फोन को बाजार में लांच कर दिया। लेकिन क्या आप जानते हैं अगर कल यानि 20 जुलाई को रामनाथ कोविंद की जगह देश का 14 वां राष्ट्रपति बाबा रामदेव को बनाया जाता तो देश के हालात बदल सकते थे। जी हां अगर बाबा रामदेव देश के राष्ट्रपति बन जाते तो देश में एक साथ कई बदलाव देखने को मिलते।

अगर बाबा रामदेव देश के राष्ट्रपति बन जाते तो दिल्ली के लोगों को गर्मी से दो-तीन महीने में राहत मिल जाती। इतना ही अंबानी ने जियो का नया फोन लांच किया। अगर बाबा रामदेव देश के राष्ट्रपति होते तो आज देश में 4 जी नहीं बल्कि पतंजलि द्वारा 5 जी फोन की सेवा शुरू हो गई होती। ये अलग बात है कि बाबा के इंटरनेट से फेसबुक, व्हॉट्सऐप और यूट्यूब जैसी विदेशी अप्लीकेशन का इस्तेमाल करने पर बैन होता। बाबा के फोन में योग के अलावा पतंजलि के सारे प्रोडक्टस देखने को मिलते।

लेकिन अब ऐसा कुछ नहीं होगा। क्योंकि बाबा देश के राष्ट्रपति नहीं बने, जिसकी वजह से बाबा ने पतंजलि का फोन लांच नहीं किया। बाबा के करीबियों ने बताया कि बाबा राष्ट्रपति नहीं बन पाए, इससे बाबा को बहुत बड़ा सदमा लगा है। हालांकि पतंजलि की शुद्ध और प्राकृतिक दवाइयां खाने की वजह से बाबा ठीक हैं। बाबा की नाराजगी का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि हर दो मिनट में हर मुद्दे पर बोलने वाले बाबा पिछले 358 मिनट से कुछ भी नहीं बोले हैं।

सूत्रों के मुताबिक बाबा रामदेव ने कहा कि मोदी ने उन्हें धोखा दिया। बाबा के करीबी ने दावा किया मोदी ने उनसे मन की बात पूछी थी, जिसके बाद वादा किया था कि वो अगला राष्ट्रपति उन्‍हें ही बनाएंगे। यही वजह है कि बाबा हमेशा मोदी सरकार की इतनी तारीफ करते रहे।

बाबा के एक करीबी ने बताया कि बाबा हमेशा देश की भलाई के बारे में सोचते हैं। यही वजह है कि बाबा ने कुछ समय पहले पराक्रम सुरक्षा प्राइवेट लि.सुरक्षा एजेंसी शुरू की थी। अगर बाबा देश के राष्ट्रपति बन जाते तो भारत सरकार को उनकी सुरक्षा के लिए कोई पैसा नहीं देना पड़ता। लेकिन अब नए राष्ट्रपति के लिए भारत सरकार को करोड़ाेें खर्च करने पड़ेंगे।

बताया जाता है कि बाबा के राष्ट्रपति न बनने से उनके भक्‍तों में निराशा है, क्योंकि एक भाषण में बाबा ने कहा था कि ठंड से बचने के लिए पानी में आजवाइन डालकर पी लें। कई भक्‍तों ने ‘आज वाइन’ समझ कर नुस्‍खा आजमाना शुरू कर द‍िया। पत्नी की मार से भी वह बाबा का नाम लेकर ही बचते रहे। ऐसे भक्‍तों का मानना है कि अगर बाबा राष्ट्रपति बन जाते तो सभी को ”आजवाइन” देते।

(नोटः इस खबर का सच्चाई से कोई लेना-देना नहीं है। यह खबर सिर्फ आपको हंसाने के लिए लिखी गई है।)