Fatty Liver Ayurvedic Remedies: स्वास्थ्य के प्रति लापरवाही, अनियमित जीवन-शैली व अनहेल्दी खानपान से स्वास्थ्य संबंधी कई समस्याओं का लोगों को सामना करना पड़ता है। फैटी लिवर भी एक ऐसी ही बीमारी है जो गलत खानपान व अनहेल्दी आदतों के कारण होती है। ह्यूमन बॉडी का दूसरा सबसे बड़ा अंग लिवर है। वैसे तो लिवर के आसपास हमेशा ही फैट जमा रहता है, लेकिन जब इसके सेल में बहुत अधिक फैट जमा हो जाता है तो फैटी लिवर की समस्या हो जाती है।

इस स्थिति में लिवर में सूजन आने लगती है और वो सिकुड़ने लगता है। अगर समय पर इसका इलाज न किया जाए तो यह गंभीर रूप ले सकता है। ऐसे में जरूरी है कि इस बीमारी से बचाव के लिए उपायों का इस्तेमाल किया जाए। आइए जानते हैं फैटी लिवर से लड़ने के लिए आयुर्वेद में क्या उपाय बताए गए हैं…

छाछ है फायदेमंद: हम जो भी खाते या पीते हैं, उसे लिवर प्रोसेस करने के बाद उसमें मौजूद सभी टॉक्सिन्स को फिल्टर कर देता है। ऐसे में ये बेहद जरूरी है कि लिवर का खास ख्याल रखा जाए। आयुर्वेद के अनुसार फैटी लिवर की समस्या को दूर करने में गर्म छाछ पीना कारगर हो सकता है। छाछ को हल्का गुनगुना कर उसमें हल्दी व जीरे का छौंक लगाकर पीने से मरीजों को फायदा होगा।

आंवला हो सकता है कारगर: आयुर्वेद में फैटी लिवर की परेशानी से निजात पाने में आंवले को भी मददगार बताया गया है। आंवला में भरपूर मात्रा में एंटी-ऑक्सीडेंट मौजूद होते हैं जो लिवर की एक्टिविटीज को सुचारू रखने में मददगार होते हैं। फैटी लिवर से दूर रहने के लिए रोजाना 3-4 कच्चे आंवला का सेवन करें। ऐसा माना जाता है कि इस बीमारी से निजात दिलाने में सूखे आंवले मददगार होते हैं। ऐसे में आप 4 ग्राम सूखे आंवले का चूर्ण पानी के साथ दिन में तीन बार  ले सकते हैं।

सोने से पहले पीयें हल्दी वाला दूध: हल्दी में पाए जाने वाले एंटी-ऑक्सीडेंट्स लिवर सेल्स को मजबूत बनाने में मदद करते हैं। इस बीमारी से छुटकारा पाने के लिए रोज रात को सोने से पहले हल्दी वाले दूध का सेवन लाभदायक हो सकता है। इसमें मौजूद तत्व शरीर के इम्यून सिस्टम को भी मजबूत बनाता है जिससे लिवर में किसी प्रकार के संक्रमण होने का खतरा भी घटता है। इसके अलावा, दूसरे खानों में मरीजों को हल्दी का इस्तेमाल करना चाहिए।