भारत में पिछले कुछ दिनों में ओमिक्रॉन के मामले में इजाफा हुआ है। अभी पिछले 24 घंटे पहले की ही बात करें तो 1 लाख 94 हजार मामले सामने आये हैं। द इंडियन एक्सप्रेस में छपी खबर के मुताबिक AIIMS चीफ गुलेरिया ने बताया कि अत्यधिक संक्रामक ओमिक्रॉन वेरिएंट मुख्य रूप से शरीर के ऊपरी श्वसन नली और वायुमार्ग को प्रभावित करता है। यह फेफड़ों को प्रभावित नहीं करता है। जिस कारण से यह एक से दूसरे तक श्वसन के माध्‍यम से तेजी से पहुंचता है।

वहीं केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने हल्के लक्षणों या बगैर लक्षणों वाले कोरोनो मरीजों के होम आइसोलेशन की 5 जनवरी 2022 को नई गाइड लाइन जारी की है। इसमें सात दिन बाद आइसोलेशन खत्म करने जैसे नियम बनाए गए हैं। इसके अलावा नोएडा के फेलिक्स हॉस्पिटल के चेयरमैन डॉ. डीके गुप्ता ने बताया है कि होम आइसोलेशन में के दौरान किन बातों का ध्यान रखना चाहिए-

होम आइसोलेशन में इन बातों का रखे ध्यान:

  1. जहां मरीज रहता है कि वहां साफ-सफाई का ध्‍यान रखें
  2. जो व्‍यक्‍त‍ि मरीज का ध्‍यान रख रहा है वह हाथों को अच्‍छी तरह से साफ करके मरीज के पास जाएं।
  3. इस बात का ख्‍याल रखना है क‍ि संक्रमितो को अलग रूम में रखा जाए जहां घर के बाक‍ि सदस्‍य न जाएं।
  4. मरीज की क‍िसी भी चीज को बि‍ना ग्‍लब्‍स पहनें नहीं छूना है, और काम हो जाने के बाद ग्‍लब्‍स को फेंक दें।
  5. संक्रम‍ित व्‍यक्‍त‍ि से म‍िलने की अनुमत‍ि घर या बाहर के क‍िसी सदस्‍य को न दें, इससे इंफेक्‍शन फैल सकता है।
  6. मरीज को ट्र‍िपल लेयर मास्‍क और एन-95 मास्‍क का प्रयोग करना है।
  7. ट्र‍िपल लेयर मास्‍क को 72 घंटों बाद फेंक दें और नया मास्‍क इस्‍तेमाल करें।
  8. संक्रमित से मिलने के बाद चेहरा, आंख और मुंह छूने से बचना है और हाथों की सफाई पर भी ध्‍यान देना है।
  9. आइसोलेशन के दौरान मरीज के बर्तन या पर्सनल चीजें क‍िसी के साथ शेयर न करें।
  10. ज‍िन चीजों को आप ज्‍यादा सोते हैं जैसे कुर्सी या पलंग व टेबल उसे आप साबुन और पानी की मदद से ड‍िसइंफेक्टेट करते रहें।

ये लक्षण दिखें तो तत्काल डॉक्टर की सलाह लें:

  1. यदि सांस लेने में मुश्किल और सांस फूलने लगे।
  2. शरीर में ऑक्सीजन का स्तर गिरकर 93 फीसदी से कम हो जाए।
  3. तीन दिनों तक यदि लगातार बुखार 100 डिग्री फेरनहाइट से ज्यादा हो।
  4. सीने में लगातार दर्द या दबाव महसूस हो, गंभीर थकान व बदन दर्द हो।

इन लक्षणों को न करें नजरअंदाज: सीडीसी के अनुसार, सांस की तकलीफ या सांस लेने में कठिनाई, थकान, मांसपेशियों या शरीर में दर्द, बुखार या ठंड लगना, खांसी, सिरदर्द, गले में खराश, बहती नाक, स्वाद या गंध का न महसूस होना, मतली या उलटी और दस्त जैसे लक्षण महसूस हों तो तुरंत जांच कराएं।