बॉलीवुड की बेबी डॉल यानि सनी लियोनी की जिंदगी पर एक शॉर्ट फिल्म बनी है। यह फिल्म टोरंटो के एक फोटो जर्नलिस्ट और फिल्म मेकर दिलीप मेहता ने बनाई है। हाल ही में यह फिल्म टोरंटो इंटरनेश्नल फिल्म फेस्टिवल में दिखाई गई थी। लेकिन सनी फिल्म के प्रीमियर के लिए नहीं पहुंची थी। न्यूयॉर्क में होते हुए सनी ने खुद की जिंदगी पर बनी फिल्म के प्रीमियर से दूरी बनाए रखना ही बेहतर ही समझा।
जब फिल्म मेकर दिलीप मेहता से बात की गई तो उन्होंने बताया, प्रीमियर के कई दिन पहले सनी ने मुझे कॉल कर कहा था कि हम फिल्म से उनके टॉपलेस सीन हटा दें। यह सीन हमने उनकी अडल्ट फिल्मों से लिए थे। यह काफी हैरान करने वाली बात है कि सनी जो कैमरा पर कहती हैं कि उन्हें फर्क नहीं पड़ता कि लोग उनकी पिछली जिंदगी के बारे में क्या सोचते हैं। वो इस तरह कर सकती हैं।
इस इवेंट पर सनी की गैरमौजूदगी ने सभी का ध्यान अपनी खींचा। इस पर दिलीप मेहता ने कहा, मुझे नहीं पता कि उन्होंने इतना बड़ा इवेंट क्यों मिस किया। अगर वो आतीं तो यह उनके लिए अच्छा होता। वैसे अच्छा ही वो यहां नहीं हैं क्योंकि अब सारी अटेंशन फिल्म पर ही रहेगी।
यह डॉक्युमेंट्री मोस्टली सनी के नाम से बनी है। इसे बनाने से पहले सनी और उनके पति से इजाजत ली गई थी। सनी ने इसे बनाने में टीम की मदद भी की थी। उन्होंने इस टीम को अपने होम टाउन के कुछ जानी पहचानी जगहें दिखाई थीं। हिंदुस्तान टाइम्स को दिए एक इंटरव्यू में डॉक्युमेंट्री के डायरेक्टर दिलीप मेहता ने बताया कि उन्होंने अपनी टीम को उस गुरुद्वारे में भेजा था जहा सनी पहले प्रार्थना किया करती थीं। लेकिन गुरुद्वारा मैनेजमेंट ने पुलिस बुला ली थी। यहां तक कि सनी के रिश्तेदारों और दोस्तों ने भी उनके बारे में बात करने से इंकार कर दिया था।इस डॉक्युमेंट्री में दिखाया जाएगा कि किस तरह जब वो छोटी थीं तो उन्हें खालसा कैंप भेजा गया था।
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A photo posted by Sunny Leone (@sunnyleone) on
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