एक्टर और फिल्म क्रिटिक कमाल राशिद. खान (केआरके) इन दिनों बॉलीवुड पर हमलावर हैं और फ्लॉप फिल्मों के लिए कंटेंट के चुनाव को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं। अब उन्होंने एक्टर-डायरेक्टर फरहान अख़्तर की चुटकी ली है। दरअसल, फरहान ने एक के बाद एक फ्लॉप हो रही फिल्मों को लेकर बयान दिया था। उनके इसी बयान पर एक वर्ग हमलावर है।

केआरके ने क्या लिखा?

कमाल राशिद खान ने ट्वीट करते हुए लिखा, ‘फरहान अख्तर ने कहा है कि अगर भारत की जनता हमारी फिल्में नहीं देखना चाहती, तो कोई बात नहीं, हमें बाकी दुनिया के लिए फिल्में बनानी चाहिए। फरहान साहब आप शायद भूल गए कि इज्जत घर से शुरू होती है! जिसकी इज्जत उसके घर में नहीं, उसको बाक़ी दुनिया में कुत्ता भी नहीं पूछता।’

फरहान अख्तर ने क्या कहा था

दरअसल हाल ही में फरहान अख्तर ने ई-टाइम्स से बात करते हुए कहा कि हर किसी को अपनी भाषा से एक भावनात्मक लगाव होता है। आप अपनी भाषा में फिल्म के इमोशन्स को बेहतर तरीके से समझ सकते हैं। कई बार केवल एक शब्द से ही बहुत सारी भावनाएं जाहिर हो जाती हैं, इसलिए अपनी भाषा के कंटेंट की अलग बात होती है। लेकिन जब हम किसी फिल्म को ट्रांसलेट करते हैं तब वो इमोशन्स थोड़े अलग हो सकते हैं।

बैरियर को तोड़ना होगा

फरहान ने कहा था कि आप इंग्लिश का कंटेंट बिल्कुल देख सकते हैं। लेकिन मुझे लगता है कि हमें अब इस बैरियर को तोड़ना होगा। आपको ऐसा करने के लिए कुछ बेहतर तरीका सोचना ही होगा ताकि किसी भी भाषा में वही भावनाएं जाहिर की जा सकें। पर्सनली ये मुझे बहुत बड़ा मुद्दा नहीं लगता है। मुझे लगता है कि यह अच्छी बात है कि दुनिया अब दूसरी भाषाओं के कॉन्टेंट को देख रही है और यह सभी के लिए फायदेमंद है।

वही तरीका अपनाना होगा जैसा ‘द एवेंजर्स’ ने किया

एक्टर ने कहा कि हमें ज्यादा लोगों तक पहुंचने के लिए वही तरीका अपनाना होगा जैसा ‘द अवेंजर्स’ ने किया। इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि कोई किस भाषा में बात कर रहा है। इससे फर्क नहीं पड़ता कि देखने वाला इंग्लिश जानता है या नहीं। इन फिल्मों में कुछ ऐसा था कि आप देखते ही हैं। कॉन्टेंट क्रिएटर्स के तौर पर हमारे लिए ऐसा बेहतरीन कॉन्टेंट बनाना जरूरी है। भाषा की समस्या इसके बहुत बाद में आती है।