हरियाणा के नूंह में दो समुदायों के बीच हुई हिंसा काफी ज्यादा फैल गई है। इस हिंसा में 5 लोगों की मौत हो गई है और कई गाड़ियां जलाकर खाक कर दी गईं। सुरक्षा के मद्देनजर आसपास के कई इलाकों में धारा 144 लागू कर दी गई है। इस हिंसा पर अब एक्टर और फिल्म क्रिटिक कमाल राशिद खान उर्फ केआरके की प्रतिक्रिया सामने आई है। उन्होंने ट्विटर पर कुछ पोस्ट किए हैं, जिनमें उन्होंने इस हिंसा का जिक्र करते हुए अपनी राय रखी है।

केआरके ने एक ट्वीट में लिखा,”मुझे इस घटना पर कोई अफसोस नहीं है, जो कुछ भी गुरुग्राममें हुआ। मेरी समझ में ही नहीं आता कि मुसलमानों को गुरुग्राम में मस्जिद क्यों बनानी है! मुसलमानों को गुरुग्राम की सड़कों पर नमाज क्यों पढ़नी है। ये तो वही बात हुई कि आ बैल मुझे मार।”

बता दें कि इस घटना में मोनू मानेसर नाम के युवक पर हिंसा भड़काने का आरोप है। लेकिन पुलिस उसे ढूंढ नहीं पाई है। इसपर केआरके ने पुलिस पर सवाल खड़े कर दिए हैं। केआरके ने लिखा,”राजस्थान और हरियाणा पुलिस वॉन्टेड मोनू मानेसर को 6 महीने से ढूंढ नहीं पाई है। जबकि वो दो मर्डर में वॉन्टेड है। उसका घर बुलडोजर से नहीं गिराया गया। यहां तक ​​कि वह अपने सोशल मीडिया पर लगातार भड़काऊ भाषणों के साथ वीडियो भी जारी कर रहा है। यानी उनका पूरा समर्थन मिल रहा है।”

अन्य ट्वीट में केआरके ने लिखा, “मोनू मानेसर पिछले 6 महीने से 2 लोगों की हत्या के मामले में वांछित है और वह खुलेआम सोशल मीडिया पर वीडियो जारी कर रहा है। लेकिन प्रतिभाशाली पुलिस उसे ढूंढ नहीं पाती। एक लुक्खा गुंडा कुछ बड़े राजनेताओं के समर्थन के बिना यह सब नहीं कर सकता। यानी जो कुछ हो रहा है, वो कराया जा रहा है।”

इसके अलावा केआरके ने जयपुर-मुंबई ट्रेन में गोलीबारी की घटना पर भी रिएक्शन दिया है। इस घटना के आरोपी चेतन सिंह को लेकर कई चश्मदीदों ने अलग-अलग तरीके के बयान दिए हैं। लोगों का कहना है कि 4 लोगों को मारने वाला चेतन दिमागी तौर पर बीमार है।

इसपर केआरके ने रिएक्शन देते हुए लिखा,”चलो जी मैं मान लेता हूं, कि चेतन दिमागी बीमार है, इसलिए उसने ये कहा कि अगर हिंदुस्तान में रहना है तो ये करना होगा। तो इसका मतलब ये हुआ, कि वो सभी बाकी नेता भी दिमागी बीमार हैं, जो ये कहते हैं कि अगर हिंदुस्तान में रहना है तो ये करना होगा। तो उन सभी नेताओं को भी पागलखाने भेजो।”