CineGram: आशा भोसले और किशोर कुमार ने एक साथ कई बेहतरीन गाने गाए हैं, जिनमें ‘एक मैं और एक तू’, ‘प्यार का दर्द है’ और ‘सुनिए कहिए’ जैसे सदाबहार गाने शामिल हैं। अब हाल ही में दिए इंटरव्यू में आशा भोसले ने किशोर कुमार के साथ बिताए कुछ पलों को याद किया और बताया कि वो उन्हें छोटी बहन की तरह मानते थे। साथ ही गायिका ने ये भी बताया कि उन्हें किशोर दा से बहुत डर लगता था।

अमृता राव और उनके पति आरजे अनमोल को दिए इंटरव्यू में अपने करियर की शुरुआत के वक्त को याद करते हुए कहा, “किशोर दा और मैं दोनों ही नए थे जब हमने फिल्म ‘मुकद्दर’ के लिए गाया। वो बहुत विचित्र थे, एक बार हम एक गाना गा रहे थे जो इस तरह था, ‘एक, दो, तीन, चार, बागों में आई बहार।’ मराठी में दो को दोन बोलते हैं तो मैंने वैसे ही गाया। तब से उन्होंने मेरा नाम दोन दोन बोलते थे और वो ही याद कर के मेरा मजाक बनाया करते थे। मुझे उनसे बहुत डर लगता था, क्योंकि वो हमेशा मेरा मजाक बनाया करते थे।”

आशा ने आगे कहा, “वो कोरस सिंगर्स के साथ मेरे खिलाफ गैंग  बना लिया करते थे। एक समय के बाद, मैंने भी जवाब देना शुरू कर दिया। उन्होंने कहा, तू भी पक्की है और हम दोस्त बन गए।”

आशा भोसले ने एक और किस्सा सुनाया जब एक रिकॉर्डिस्ट ने किशोर कुमार को रिजेक्ट कर दिया था। उन्होंने कहा, “उस समय में माइक बड़े हुआ करते थे और उनमें रिकॉर्डिंग बड़ी देर से होती थी। एक रिकॉर्डिस्ट थे रोबिन चटर्जी और म्यूजिक डायरेक्टर को हम बहुत पसंद आए, वो थे खेमचंद प्रकाश। जब हमने गाना शुरू किया, चटर्जी ने कहा, “ये काम नहीं करेगा, इनकी आवाज अच्छी नहीं है, दूसरे आर्टिस्ट को बुलाओ। हमने ये सुना और हम वहां से निकल गए और महालक्ष्मी स्टेशन पहुंचे। बहुत देर हो चुकी थी और हमें भूख लग रही थी, हमें अच्छा नहीं लग रहा था, हमने कुछ खाना और चाय ली।”

किशोर कुमार ने दिया था करारा जवाब

आशा भोसले ने आगे कहा, “किशोर दा काफी दुख थे, लेकिन मैं पॉजिटिव थी। मैंने उन्हें कहा कि वो एक बड़े कलाकार बनेंगे। कुछ सालों बाद हमने फिर रिकॉर्ड किया। हम मशहूर हो चुके थे, तभी वहां भी हमको वो रिकॉडिस्ट मिला। हम जब वहां गए तो किशोर दा ने उसे देखा और कहा, ‘आशा विलेन यहां है।’ मैंने परवाह नहीं की लेकिन किशोर दा ने कहा मैं जाकर उससे बात करता हूं।’ किशोर दा ने कहा, ‘अगर ये रिकॉर्डिस्ट है तो मैं नहीं गाऊंगा।’ मैंने उन्हें रोका, मैंने कहा दादा ये सही नहीं है, हमें कभी किसी की नौकरी नहीं छीननी चाहिए। किशोर दा ने मुझे याद दिलाया कि उसने हमारे साथ क्या किया था। मैंने कहा, समय सही नहीं था लेकिन किशोर दा फिर भी गए और उसपर चिल्लाए। सब किस्मत की बात है।”

आशा भोसले ने की किशोर कुमार की तारीफ

इसके बाद आशा भोसले ने बताया कि किशोर कुमार के कपड़ों से उनके मूड का पता लगाया जा सकता था। “वो बहुत शैतान थे, वो ऑल-इन-वन मैन थे। वो फिल्ममेकर थे, म्यूजिक डायरेक्टर थे, सिंगर, राइटर, एक्टर सब थे। उनके जिनता हुनर होना मुश्किल है। वो जब भी आते थे तो मैं उनके पहनावे से उनके मूड का अंदाजा लगा लेती थी। अगर वो सफेद कुर्ता और धोती के साथ टोपी पहनते थे, तो इसका मतलब था कि वह अच्छे मूड में थे। लेकिन अगर वह लुंगी और बिखरे बाल पहनकर आता तो मैं उनसे बात करने से बचती थी। फिर वो आते और मुझसे कहते थे, ‘आशा मैंने जानी तेरे मन की भाषा,’ और मैं नजरअंदाज कर देती थी। वो मुझे अपनी छोटी बहन की तरह मानते थे।”

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