रानी चटर्जी भोजपुरी इंडस्ट्री का ऐसा अकेला नाम हैं जिनके फिल्मों में किसी और हीरो की जरूरत नहीं पड़ती। उनके लीड किरदार वाले फिल्मों को भोजपुरी दर्शक बहुत प्यार देते हैं। लेकिन एक वक़्त ऐसा भी था जब रानी चटर्जी को फिल्मों में कास्ट करने के बाद भी दूसरी हीरोइन के साथ शूट शुरू हो जाती थी। रानी ने भोजपुरी सिनेमा में अपने शुरुआती संघर्षों का ज़िक्र करते हुए ये बातें बताई। उन्होंने यूट्यूब चैनल, ‘योयो टीवी टाइम्स’ को दिए इंटरव्यू में बताया कि शुरू में उन्हें बहुत संघर्षों से जूझना पड़ा था।

वो बोलीं, ‘जब मैं भोजपुरी इंडस्ट्री में आई तो मेरे परिवार का बहुत सपोर्ट था मुझे। लेकिन फिल्मों के हीरो मुझे फिल्म में कास्ट नहीं होने देते थे क्योंकि मैं उन्हें हीरोइन जैसी नहीं दिखती थी। कई बड़े बैनर्स आए लेकिन मैंने उनके साथ काम नहीं किया। यह भी कह सकते हैं कि शुरू में उन्होंने मुझे कास्ट नहीं किया और जब मैं कुछ बन गई तो मैंने ही उनके साथ काम करने की दिलचस्पी नहीं दिखाई।’

उन्होंने आगे बताया, ‘कई बार ऐसा हुआ कि मुझे बोला गया कि तुम हो फिल्म में लेकिन किसी और हीरोइन के साथ शूटिंग शुरू हो गई और मुझे पता भी नहीं चला। शुरू में मेरे साथ ये बहुत हुआ लेकिन बाद में एक समय ऐसा आया कि भोजपुरी के स्टार हीरो ने मेरे साथ फिल्में करनी बंद कर दी। मुझे ऐसा लगता है और लोग भी ऐसा बोलते हैं कि दो सुपरस्टार एक फिल्म में कैसे होंगे? क्योंकि मेरा अपना एक स्टारडम रहा।’

रानी ने आगे बताया, ‘मुझे उस वक़्त ऐसा लगने लगा कि अगर मैं एक्टर्स के साथ फिल्में नहीं करूंगी तो करूंगी क्या? फिर मैंने डिसाइड किया कि स्क्रिप्ट पर फोकस करूं न कि स्टारडम पर। स्क्रिप्ट पर काम शुरू किया मैंने और क्लिक हो गई। महिला प्रधान फिल्में करनी शुरु की मैंने।’

 

अपने आपको कंगना रनौत से तुलना किए जाने पर रानी का कहना था कि कंगना भी वुमन ओरिएंटेड फिल्में करती हैं और इधर भोजपुरी में वो भी इसी तरह की फिल्में करती हैं शायद इसलिए लोग यह तुलना करते हैं। वो बोली, ‘काफी लोग तुलना करते हैं क्योंकि इस इंडस्ट्री में मैं वुमन ओरिएंटेड फिल्मों से ही टिकी हूं। पिछले 10 सालों से मेरा करियर सिर्फ़ मेरे दम पर ही चला है जिसमें मुझे बहुत सारी दिक्कतें भी झेलनी पड़ी।’