उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के बीच गठजोड़ पर निशाना साधते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार (10 फरवरी) को यहां वंशवाद की राजनीति और कानून व्यवस्था का मुद्दा उठाते हुए इसे दो परिवारों के बीच गठबंधन बताया जिन्होंने उत्तर प्रदेश और देश को ‘लूटा’। प्रधानमंत्री ने राहुल गांधी का मजाक उड़ाते हुए कहा कि उनकी ‘बचकानी’ हरकतों की वजह से किसी नेता पर उतने चुटकुले नहीं बने जितने उनपर। एक रैली को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा, ‘जब दोनों परिवार अलग थे तो उन्होंने देश और उत्तर प्रदेश का इतना नुकसान किया। जब वो हाथ मिला लेंगे तो क्या होगा। अगर आप उत्तर प्रदेश को बचाना चाहते हैं तो आपको उसे इन परिवारों से बचाना होगा।’
राज्य विधानसभा चुनावों में भाजपा कड़े मुकाबले में उलझी है, ऐसे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यादव वंश के ‘परिवारिक शासन’ और उस दौरान हुए अपराधों पर अपने भाषण का बड़ा हिस्सा दिया। इसके अलावा उन्होंने अखिलेश यादव और मायावती की सरकारों में हुए ‘भ्रष्टाचार’ की भी जमकर चर्चा की। कांग्रेस पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के लिए रेनकोट वाले बयान का इस्तेमाल करने पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधती रही है। कांग्रेस का कहना है कि मोदी विपक्ष के लिए गलत और उसके अपमान वाली भाषा का इस्तेमाल कर रहे हैं। विपक्ष के आरोपों के बावजूद मोदी ने विरोधियों पर तीखा हमला बोलते हुए कहा कि इन लोगों ने सिर्फ परिवार की सेवा की है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि उनकी सरकार एक किसान कल्याण कोष की स्थापना करेगी जिसका नाम लोकप्रिय जाट नेता चौधरी चरण सिंह के नाम पर रखा जाएगा। उप्र के शुरुआती दो चरणों (11 और 15 फरवरी) में होने वाले मतदान में जाट मतों की भूमिका अहम है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में भाजपा की सरकार बनी तो पार्टी के घोषणा पत्र में शामिल गन्ना किसानों के बकाये के भुगतान और छोटे तथा सीमांत किसानों के कर्ज की माफी सरकार की प्राथमिकता होगी। प्रधानमंत्री के भाषण के केंद्र में हालांकि आज समाजवादी पार्टी-कांग्रेस गठबंधन और सत्ताधारी यादव परिवार ही रहा।
उन्होंने कहा, ‘मैं अखिलेश यादव के बारे में ज्यादा नहीं जानता। मैं उनसे कुछ बार बैठकों में ही मिला हूं और विभिन्न रिपोर्ट पढ़ने के बाद मुझे ऐसा लगा था कि वह एक शिक्षित युवा हैं और जो सीखने की कोशिश कर रहा है। मुझे उम्मीद है कि ये युवा पांच-10 सालों में राजनीति के योग्य हो जाएंगे।’
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘दूसरी तरफ एक कांग्रेस नेता हैं वह इतनी बचकाना हरकत करते हैं कि अगर आप कंप्यूटर पर खोजेंगे तो किसी दूसरे नेता के बारे में उतने चुटकुले नहीं मिलेंगे जितने उनपर मिलेंगे।’
कांग्रेस उपाध्यक्ष पर निशाना साधते हुए मोदी ने कहा, ‘यहां तक कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भी उनसे दूरी बनाकर रखते हैं। जिस नेता से पार्टी के वरिष्ठ नेता बचते हैं उन्हें अखिलेश गले लगाते हैं तो इससे उनकी बुद्धि पर शक होता है। गलतियां किसी से भी हो सकती हैं लेकिन इस तरह की नहीं।’
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ये दो परिवारों के बीच गठजोड़ है, उनमें से एक ने देश को तो दूसरे ने उत्तर प्रदेश को ‘लूटा’ है। उन्होंने कहा कि यादव परिवार के कई लोग सांसद, विधायक हैं और कई सरकार में विभिन्न पदों पर हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि 2000 गांवों बाले बिजनौर में जहां एक सांसद है वहीं अखिलेश यादव के गांव सैफई से कई सांसद, विधायक हैं तो सरकारी संस्थाओं में कई लोग भी उनके गांव के ही हैं। उन्होंने कहा, ‘उन्होंने एक जाति (यादव) को अपना वोटबैंक बनाया लेकिन सेवा सिर्फ अपने परिवार की ही की।’
अखिलेश यादव पर अपने विरोधियों को झूठे आपराधिक मामलों में फंसाकर दबाने का आरोप लगाते हुए, मोदी ने कहा कि 11 मार्च को आने वाले चुनावी नतीजे इसका ‘पर्दाफाश’ कर देंगे और भाजपा सरकार ऐसे सभी मामलों की जांच कराएगी। प्रधानमंत्री ने कहा कि क्या कोई भद्र व्यक्ति बिना किसी राजनीतिक संबद्धता के यह कह सकता है कि उत्तर प्रदेश सरकार अच्छे लोंगों की सुरक्षा करने में विफल है। उन्होंने कहा कि भाजपा के पक्ष में उप्र में बदलाव की लहर चल रही है जिसकी वजह से सालों तक एक दूसरे को निशाना बनाने वाली कांग्रेस और समाजवादी पार्टी को एक साथ आना पड़ा।
