पंजाब के रोपड़ के नजदीक एक कॉलेज में कभी दिलप्रीत सिंह मकैनिकल का छात्र था। पढ़ने-लिखने में दिलप्रीत ठीक-ठाक था और जिंदगी एक आम छात्र की तरह ही चल रही थी। एक दिन गांव में खेतों में पानी डालने को लेकर दिलप्रीत का झगड़ा कुछ नौजवानों से हो गया। उस वक्त पंचायत ने दोनों पक्षों के बीच समझौता करा मामले को शांत करा दिया था। लेकिन कुछ दिनों बाद जब दिलप्रीत अपनी बहन के साथ कॉलेज जा रहा था तब गांव के कुछ युवकों ने अचानक उस पर हमला कर दिया था। इस बात का बदला लेते हुए दिलप्रीत ने भी उनके साथ मारपीट की थी।
बस यहीं से मकैनिकल के एक छात्र की जिंदगी बदल गई। इसके बाद गांव के आसपास होने वाली करीब-करीब हर छोटी-मोटी मारपीट औऱ आपराधिक वारदातों में दिलप्रीत का नाम आने लगा। 18 मई 2016 को एक मामले में पुलिस जब दिलप्रीत को पकडक़र ले जा रही थी तो कुछ युवाओं ने पुलिस पार्टी पर हमला करके दिलप्रीत को छुड़वा लिया। उसके बाद अपहरण, फिरौती, लूटपाट व हत्या के कई मामलों में दिलप्रीत बाबा का नाम आने लगा था।
साल 2018 में जुलाई के महीने में पुलिस ने खूंखार गैंगस्टर दिलप्रीत सिंह उर्फ बाबा को पंजाब से गिरफ्तार किया था। उस वक्त यह बात सामने आई थी कि दिलप्रीत सिंह आर्थिक तंगी से गुजर रहा था। जिस दिन को पकड़ा गया था उस दिन वो वसूली पर निकला था। लेकिन इस बीच एक मुखबिर ने पुलिस को उसकी सूचना दे दी थी। यह भी खुलासा हुआ था कि दिलप्रीत ने फिरौती, ड्रग स्मगलिंग और गैरकानूनी हथियारों के पैसे इकट्ठे करने और सोशल मीडिया का इस्तेमाल करने के लिए बकायदा पढ़े-लिखे गुर्गों को काम पर लगा रखा था। यह खुलासा हुआ था कि दिलप्रीत सिंह वाइफाई के जरिए वॉट्सएप कॉल करता था, ताकि पुलिस को उसका पता न चल सके।
गैंगस्टर दिलप्रीत सिंह ने उस वक्त पुलिस को बताया था कि वह और उसके साथी हॉलीवुड की फिल्में खासकर क्राइम थ्रिलर देखना पसंद करते थे। क्राइम सीक्वेंस को वह असली जिंदगी में फिरौती, हत्या, चोरी, डकैती और स्मगलिंग के वक्त इस्तेमाल करते थे। दिलप्रीत सिंह के बारे में यह भी खुलासा हुआ था कि वो एक समय दो सगी बहनों को डेट किया करता था। ड्रग्स उसे पसंद था और उसने महंगी कार भी अपनी गर्लफ्रेंड को तोहफे में दी थी।