Dollar vs Rupees: केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को कहा कि भारतीय रुपया अन्य मुद्राओं की तुलना में अमेरिकी डॉलर के मुकाबले काफी मजबूत है। रुपये के रिकॉर्ड निचले स्तर पर जाने से जुड़े सवाल पर वित्त मंत्री ने कहा कि RBI और वित्त मंत्रालय स्थिति पर पूरी तरह नजर रख रहे हैं।

पुणे जिले की अपनी तीन दिवसीय यात्रा के अंतिम दिन मीडिया से बात करते हुए वित्त मंत्री ने कहा कि अगर कोई एक मुद्रा है जो खुद को संभालाने में सक्षम है और अन्य मुद्राओं की तुलना में उतार-चढ़ाव से बची हुई है, तो वह भारतीय रुपया है। हमने बहुत अच्छी तरह से वापसी की है और काफी अच्छी तरह से इस स्थिति का सामना किया है। रुपये की गिरती कीमत के बारे में पूछे जाने पर निर्मला सीतारमण ने कहा कि गिरावट के मौजूदा दौर में डॉलर के मुकाबले अन्य मुद्राओं की स्थिति पर भी अध्ययन करने की जरूरत है।

यूक्रेन-रूस युद्ध का असर: गौरतलब है कि अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया शुक्रवार को अब तक के सबसे निचले स्तर 81.09 रुपये प्रति डॉलर तक पहुंच गया था। पिछले कुछ महीनों में ये गिरावट लगातार जारी है। विशेषज्ञों का मानना है कि साल 2022 की शुरुआत में यूक्रेन पर रूस के हमले के बाद बढ़े भू-राजनीतिक तनाव ने डॉलर की तुलना में दूसरी मुद्राओं की स्थिति को कमजोर किया है। वहीं, इस पर अमेरिका समेत कई देशों के केंद्रीय बैंकों की ब्याज दरों में बढ़ोतरी का भी असर पड़ा है।

विदेशी मुद्रा भंडार में गिरावट: जनवरी 2022 से सितंबर 2022 के बीच केवल आठ महीनों में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार लगभग 90 बिलियन डॉलर या लगभग 11 बिलियन डॉलर प्रति माह कम हो गया है। 16 सितंबर 2022 तक भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 545.65 बिलियन डॉलर था, जबकि 14 जनवरी 2022 को यह 634.97 बिलियन डॉलर था।

महंगाई दर को 4 प्रतिशत से नीचे रखने की कोशिश: इससे पहले वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुरुवार को कहा था कि सरकार महंगाई दर को 4 प्रतिशत से नीचे रखने की हर संभव कोशिश कर रही है। केंद्र सरकार ऐसे कदम उठा रही है जिससे लोगों को जरूरी चीजें सही दाम पर समय से मिल सकें। महंगाई दर को एक निश्चित स्‍तर पर लाने के लिए कदम उठाए जा रहे हैं। उन्‍होंने कहा कि महंगाई के मुद्दे को वैश्विक परिप्रेक्ष्‍य में देखा जाना चाहिए।