फेड रिजर्व की ओर से 2023 तक 2 बार ब्याज दरों को बढ़ाने के ऐलान के बाद से दुनिया का क्रिप्टोरेंसी मार्केट हिल गया है। जहां दुनिया की सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी 38 हजार डॉलर पर आ गई वहीं दूसरी वर्चुअल क्वाइन भी गिरावट के साथ कारोबार कर रहे हैं। कुछ दिन पहले एलन मस्क ने बिटक्वाइन के सपोर्ट में ट्वीट किया था जिसके बाद से उसकी कीमत में काफी तेजी देखने को मिली थी। जिसकी वजह से बिटक्वाइन के दाम 41 हजार डॉलर के पार चले गए थे। 10 दिनों में 19 फीसदी की तेजी देखने को मिली थी। जानकारों की मानें तो फेड के फैसले का असर अभी और देखने को मिल सकता है।
15 और 16 जून को फेड रिजर्व की मीटिंग हुई थी। जिसमें ब्याज दरों को जीरो रखने का तो फैसला लिया, लेकिन 2023 तक दो बार ब्याज दरों को बढ़ाने का भी संकेत दिया। फेड रिजर्व के अधिकारियों के अनुसार वैक्सीनेशन में तेजी आने से कोविड केसों में काफी कमी देखने को मिल रही है। जिसकी वजह से आर्थिक गतिविधियों के संकेतक मजबूत हुए हैं। साथ ही रोजगार के आंकड़े भी अच्छे देखने को मिल रहे हैं।
बिटक्वाइन की कीमत में पड़ा असर : फेड के फैसले का असर दुनिया की सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी पर सबसे ज्यादा देखने को मिला। क्वाइन डेस्क की वेबसाइट के अनुसार भारतीय समय के अनुसार दोपहर 12 बजकर 50 मिनट पर बिटक्वाइन के दाम 2.54 फीसदी की गिरावट के साथ 39311.90 डॉलर पर कारोबार कर रहा है। जोकि कारोबारी सत्र के दौरा 38131.33 डॉलर के साथ निचले स्तर पर भी चला गया था। जबकि इसकी शुरुआत 40346.03 डॉलर के साथ हुई थी।
दुनिया की बाकी क्रिप्टोकरेंसी के दाम भी गिरे : इथेरियम की कीमत में सबसे ज्यादा 3.39 फीसदी की गिरावट देखने को मिल रही है। जिसकी वजह से दाम 2454.11 डॉलर पर आ गए हैं। कारडानो की कीमत में 2.10 फीसदी की गिरावट है और दाम 1.54 डॉलर पर आ गए हैं। जबकि डोजेक्वाइन की कीमत में 1.64 फीसदी की गिरावट देखने को मिल रही है। जिसकी वजह से की कीमत 0.313824 डॉलर पर आ गए हैं। जानकारों की मानें तो फेड रिजर्व के फैसले का असर अभी देखने को मिल सकता है।