देश में आम नागरिकों पर फिर से एक बार महंगाई का बोझ बढ़ने वाला है। आपको बता दें देश सभी बड़ी एफएमसीजी कंपनियां जिंसों जैसे गेहूं और पाम ऑयल के दामों में तेजी के चलते रोजमर्रा की चीजों के दाम बढ़ाने की तैयारियां कर चुकी हैं। दुनिया में रूस यूक्रेन युद्ध के कारण पिछले कुछ हफ्तों से गेहूं, खाने के तेल और कच्चे तेल के दाम तेजी से बढ़ रहे हैं।
एचयूएल और नेस्ले ने बढ़ाई कीमतें: मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक हिंदुस्तान युनिलीवर लिमिटेड (एचयूएल) ने ब्रू कॉफी के अलग- अलग पैक पर 1.5 से लेकर 14 फीसदी तक की वृद्धि की है। ताजमहल चाय के दाम में 3.7 फीसदी से लेकर 5.8 फीसदी का इजाफा किया है। इसके मुकाबले नेस्ले ने देश के सबसे पॉपुलर नूडल ब्रांड मैगी के दामों में 9 से लेकर 16 फीसदी की वृद्धि की है।
देश में बिस्कुट बनाने वाली कंपनी पारले के सीनियर प्रोडक्ट्स हेड मयंक शाह ने समाचार एजेंसी पीटीआई से बातचीत करते हुए कहा कि “हम इंडस्ट्री द्वारा कीमतों में 10-15 फीसदी बढ़ोतरी की उम्मीद कर रहे हैं।” उन्होंने कहा कि कीमतों में तेजी से उतार-चढ़ाव हो रहा है ऐसे में यह बता पाना बिल्कुल मुश्किल है कि कीमतों में कितनी वृद्धि हो सकती है।
आगे उन्होंने कहा कि पाम तेल की कीमतें पिछले दिनों 180 रुपए लीटर तक चली गई थी और अब घटकर 200 रुपए प्रति लीटर तक आ गई है। इसी प्रकार कच्चे तेल के दाम भी 140 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच गए थे जो अब 100 डॉलर प्रति बैरल के आस पास आ गए है। कीमतों में वृद्धि को लेकर उन्होंने कहा कि हर कोई 10 से 15 फीसदी की कीमतों में बढ़ोतरी कर रहा है जबकि लागत में इससे कहीं अधिक की वृद्धि हुई है।
वही डावर के सीएफओ अंकुश जैन का कहना है कि यह लगातार दूसरा साल है जब महंगाई उच्च स्तर पर बनी हुई है। उन्होंने कहा कि महंगाई के दबाव के कारण कीमतों में वृद्धि होगी, जिससे उपभोक्ताओं की जेब पर दबाव पड़ेगा और मांग में भी कमी आएगी। हम इस स्थिति पर करीब से नजर रख रहे हैं और महंगाई के दबाव को कम करने के लिए कीमतों में मामूली बढ़ोतरी करेंगे।