When to buy your new home : पिछले कुछ अरसे के दौरान देश के ज्यादातर इलाकों में घरों की कीमतें काफी तेज रफ्तार से बढ़ी हैं। साथ ही होम लोन की ब्याज दरें भी काफी समय से ऊंचे स्तर पर बनी हुई हैं। ऐसे में जो लोग घर खरीदने की सोच रहे हैं, उनके सामने एक बड़ा सवाल ये है कि उन्हें मौजूदा माहौल में क्या करना चाहिए। क्या भविष्य में दाम और बढ़ने की संभावना को देखते हुए उन्हें जल्द से जल्द घर खरीद लेना चाहिए या लंबे अरसे से ऊंचाई पर टिकी ब्याज दरों के गिरने का इंतजार करना चाहिए?

अभी और बढ़ेंगी घरों की कीमतें?

घरों की कीमतों में तेजी का रुझान आने वाले दिनों में भी जारी रहने के आसार हैं। मोतीलाल ओसवाल के एनालिस्ट्स की कुछ अरसा पहले आई एक रिपोर्ट में कहा गया था कि रियल एस्टेट ग्रोथ साइकल करीब 7-8 साल लंबा चलने वाला है और अभी उसके बीच का दौर चल रहा है। इस हिसाब से रियल एस्टेट की डिमांड और प्राइस दोनों में तेजी का रुझान बना रहेगा। जेएलएल इंडिया ने भी हाल में एक रिपोर्ट में कहा है कि रियल एस्टेट का यह ग्रोथ साइकल कोई चौंकाने वाली घटना नहीं है, बल्कि तेजी का यह दौर आने वाले वर्षों में भी बना रहने वाला है।

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अभी खरीदें या इंतजार करें 

घरों की कीमतों के रुझानों के बारे में ऊपर दिए अनुमानों पर भरोसा करें तो प्रॉपर्टी की कीमतें अभी और बढ़ने वाली हैं, जबकि ब्याज दरों में कटौती की उम्मीद का कोई ठोस आधार अभी दिखाई नहीं दे रहा है। जीडीपी ग्रोथ रेट के आंकड़े हों या इंफ्लेशन का प्रेशर, सभी यही संकेत दे रहें कि इंटरेस्ट रेट में बहुत जल्द गिरावट नहीं आने वाली। ऐसे में घर खरीदने के फैसले को लटकाए रखना कितना सही होगा?

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अपनी जरूरत के हिसाब से करें फैसला

अगर आप अपने निजी इस्तेमाल के लिए घर खरीदना चाहते हैं, तो इसके लिए मौजूदा वक्त बुरा नहीं है। वैसे भी रेजिडेंशियल प्रॉपर्टी की कीमतों में यह इजाफा लंबे समय की स्थिरता के बाद हुआ है और कीमतों में यह बढ़ोतरी लंबे समय के लिए मौजूदा स्तरों पर बनी रहेगी। इसलिए जो लोग अपने रहने के लिए घर खरीदना चाहते हैं, उनके लिए यह अच्छा मौका है। फिलहाल कीमतें कुछ महीनों की तेजी के बाद थोड़ी स्थिर नजर आ रही हैं और इससे पहले कि उनमें फिर से उछाल आ जाए, इस बारे में फैसला कर लेना चाहिए। इस लिहाज से देखें तो होम लोन की दरों में गिरावट का इंतज़ार करने में समझदारी नहीं है। ऐसा इसलिए क्योंकि अगर आप फ्लोटिंग रेट पर होम लोन लेते हैं, तो आने वाले दिनों में रेट कट का लाभ आपको भी मिल जाएगा। अगर आपका मौजूदा बैंक इंटरेस्ट रेट न घटाए तो आप लोन ट्रांसफर भी करा सकते हैं। लेकिन अगर घर की कीमतें और बढ़ गईं, तो ब्याज दरों में कटौती से होने वाली बचत का फायदा नुकसान में बदल सकता है। 

घर खरीदने और होम लोन लेने में इन बातों का ध्यान रखें 

फैसला घर खरीदने का हो या होम लोन लेने का, कुछ बातों का ध्यान जरूर रखना चाहिए। सबसे पहले तो आपको ये सभी फैसले घर की अपनी जरूरत और फंड की उपलब्धता को ध्यान में रखते हुए करने चाहिए। साथ ही, ज्यादा बड़ा घर खरीदने के लिए अपनी क्षमता से ज्यादा पैसे खर्च करने या लोन लेने से बचना चाहिए। होम लोन की EMI इतनी नहीं होनी चाहिए कि आपके दूसरे जरूरी काम रुक जाएं। आम तौर पर आपकी आमदनी में EMI का हिस्सा 40 फीसदी से अधिक नहीं होना चाहिए। इन सभी बातों का ध्यान रखने के बाद अगर आप मौजूदा कीमतों पर अपने रहने के लिए घर खरीद सकते हैं, तो ऐसा करने में कोई हर्ज नहीं है।