Fastag Rules: टोल प्लाजा पर वाहनों की आवाजाही को लेकर सरकार एक नया नियम बनाने जा रही है। यदि आप भी टोल प्लाजा पर FasTag (फास्टेग) लेन से अपनी गाड़ी निकालते हैं तो आपकी मुश्किलें बढ़ सकती है। इस लेन से अब केवल वही वाहन निकल सकेंगे जिन में FasTag डिवाइस लगी होगी। बिना फास्टेग डिवाइस वाली गाड़ियां यदि इस लेन में आती हैं तो उन्हें दुगनी फीस देनी पड़ सकती है।
ऐसा इसलिए किया जा रहा है क्योंकि ज्यादातर लोग लंबी कतारों से बचने के लिए फास्टेग लेन से अपनी गाड़ी निकालने की कोशिश करते हैं। इससे FasTag डिवाइस लगे हुए वाहनों को इंतजार करना पड़ता है। सरकार के इस नए नियम से फास्टेग डिवाइस वाली गाड़ियों को टोल प्लाजा में इंतजार नहीं करना पड़ेगा।
कई बार लोग गलत लेन में प्रवेश कर जाते हैं जिससे विवाद और जाम की समस्या बढ़ जाती है। इससे निपटने के लिए सरकार ये नियम लागू करने वाली है। हालांकि अभी इस नियम को लागू नहीं किया गया है लेकिन केंद्र सरकार जल्द ही इसका सर्कुलर जारी कर सकती है। ये नया नियम कब से लागू किया जाएगा इसके इसके बारे में भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) द्वारा घोषणा की जाएगी।
क्या है FasTag: फास्टेग एक डिवाइस है जिसे गाड़ियों में लगाया जाता है। इसके लिए सभी टोल प्लाजा पर एक अलग लेन बनी हुई है। इस डिवाइस को वाहन के विंडस्क्रीन पर लगाया जाता है। जो कि रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (RFID) तकनीक से संचालित होता है। इस डिवाइस से आपको अपने बैंक एकाउंट को लिंक करना होता है। जब आप अपनी कार को फास्टेग लेन से लेकर निकलते हैं तो आपको रूकने की जरूरत नहीं होती है। आपके वाहन का रिकॉर्ड कैमरे के माध्यम से दर्ज कर लिया जाता है और टोल फीस सीधे आपके लिंक्ड बैंक खाते से काट ली जाती है।
बता दें कि, केंद्रीय भूतल परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने टोल प्लाजा पर फास्टेग को चार साल पहले शुरु किया था। हालांकि अभी भी देश में ज्यादातर वाहन ऐसे हैं जिनमें ये डिवाइस नहीं लगी है। सरकार इस नियम को इसलिए लागू कर रही है ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग फास्टेग डिवाइस का प्रयोग करें।