इस साल के बजट को लेकर शेयर बाजार ने बहुत ज्यादा उत्साह नहीं दिखाया है। हजार प्वाइंट से ज्यादा की गिरावट ने बता दिया है कि उम्मीदें कुछ और थीं और मिला कुछ और है। लेकिन फिर भी मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल के इस पहले बजट को ऐसा माना जा रहा है जिसमें सभी के लिए कुछ ना कुछ रखा गया है। बस किसी को कम मिला है तो किसी को ज्यादा। अब किसी भी बजट का सबसे ज्यादा असर बिजनेस इंडस्ट्री पर पड़ता है। कोई भी फैसला हो, उसका सीधा ताल्लुक उनसे रहता है।
अब ऐसे ही कई बिजनेस इंडस्ट्री के एक्सपर्ट से बातचीत की गई है। उन एक्सपर्ट्स ने अब कुछ बिंदुओं पर चिंता जाहिर की है, लेकिन इस बजट की 3 ऐसी बातें भी सामने रखीं है जो उन्हें काफी ज्यादा भा गई हैं। एक तरफ अगर Vahan.ai के फाउंडर और सीईओ माधव कृष्णा ने युवाओं को मिलने वाली इंटर्नशिप का स्वागत किया है तो वही Shiprocket के चीफ फाइनेनशियल ऑफिसर तनमय कुमार ने MSME के लिए किए गए ऐलानों का जिक्र किया है। इसी तरह CureBay के फाउंडर और सीईओ प्रियदर्शी मोहपात्रा ने हेल्थ केयर सेक्टर के लिए ऐलानों पर खुशी जाहिर की है।
है तो यह छप्पन भोग वाला बजट… बस किसी को मिला कम तो किसी को ज्यादा
युवाओं को क्या बजट में काफी कुछ मिला?
Vahan.ai के फाउंडर और सीईओ माधव कृष्णा कहते हैं कि इस बार बजट में सरकार ने शिक्षा, रोजगार और स्किलिंग पर जो 1.48 करोड़ रुपये खर्च करने का फैसला किया है, यह तारीफ योग्य है। अगर आज के युवा को नौकरी चाहिए तो यह वैसे भी जरूरी है कि बजट में उसका ठीक प्रावधान किया जाए और तरह-तरह के स्किल्स डेवलप करने पर जोर रहे। मैं तो मानता हूं कि यह जो स्किलिंग प्रोग्राम चलाए जाएंगे, उसमें इस बात का भी ध्यान दिया जाना चाहिए कि टेक्नोलॉजी और AI तेजी से प्रगति कर रहा है, ऐसे में युवाओं को हर तरह से तैयार रहना होगा।
माधव कृष्णा आगे कहते हैं कि सरकार को बजट के बाद अब AI और मशीन लर्निंग के रिसर्च और डेवलपमेंट एरिया में निवेश करना चाहिए। मैं तो उम्मीद करता हूं कि सरकार आगे अब AI प्रेरित स्टार्ट अप्स में निवेश करवाएगी, अब चाहे वो प्राइवेट पार्टनरशिप के जरिए हो या फिर रिसर्च इंस्टीट्यूशन के जरिए।
MSME को लेकर एक्सपर्ट की राय
वैसे इस बार सरकार ने छोटे उद्यमी यानी कि MSME पर भी खास फोकस किया है। इस बारे में Shiprocket के चीफ फाइनेनशियल ऑफिसर तनमय कुमार ने विस्तार से बताया है। वे कहते हैं कि हम इस बात की तारीफ करते हैं सरकार मैन्युफैक्चरिंग और सर्विस सेक्टर पर खास ध्यान दे रही है, वो MSME की अहमियत समझ रही है जिसने देश की जीडीपी में 30 फीसदी योगदान दिया है। जिस तरह से इस सरकार ने नए आर्थिक दरवाजे खोलने की पहल की है, उससे भी MSME को काफी बूस्ट मिलेगा। तनमय ने इस बात पर भी जोर दिया है कि सरकार की क्रेडिट गारंटी स्कीम भी MSME को बढ़ावा देगी और आत्मनिर्भरता की ओर कदम बढ़ेंगे।
हेल्थकेयर में कितना आगे सरकार?
अब CureBay के फाउंडर प्रियदर्शी मोहपात्रा ने बजट के हेल्थ सेक्टर वाले पहलू पर ज्यादा तवज्जो देने का काम किया है। उनका कहना है कि जिस तरह से सरकार ने प्राथमिकता दी है कि हेल्थकेयर सर्विस सभी तक पहुंचे, यह अच्छी बात है। इसी तरह कैंसर की दवाइयों का रेट कम करना, एक्स रे ट्यूब पर कस्टम ड्यूटी घटना भी बड़े कदम है जिससे हर किसी भी तक किफायती रेट में हेल्थ केयर सर्विस पहुंच पाएगी। मैं तो मानता हूं कि यह बजट एक बड़ा कदम है स्वस्थ्य और समान भारत की ओर।