Budget 2020 Income Tax: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण शनिवार को 11 बजे जब संसद में बजट पेश करेंगी तो हर वर्ग की निगाह इस पर होगी कि आखिर पिटारे से उनके लिए क्या निकलेगा। मिडिल और वेतनभोगी वर्ग को भी बजट से टैक्स में छूट की उम्मीद है। निवेश और टैक्स के मामलों की जानकारी रखने वाले लोगों ने 5 लाख रुपये तक की आय को पूरी तरह टैक्स के दायरे से बाहर रखने की उम्मीद जताई है।
इससे पहले 2019 के बजट में 5 लाख या उससे कम इनकम वालों को टैक्स से राहत दी गई थी, लेकिन टैक्स योग्य आय अधिक होने पर यह छूट नहीं दी गई थी। आइए जानते हैं, 2018 के मुकाबले 2019 में कितना बदल गया था टैक्स स्लैब…
2019 में 5 लाख तक कमाने वालों को मिली थी राहत: वित्त वर्ष 2019-20 के बजट में 2.5 लाख रुपये तक की कमाई पर टैक्स जीरो था। यही नहीं ऐसे लोगों को भी टैक्स में पूरी तरह छूट दी गई, जिनकी कमाई 5 लाख रुपये तक या फिर उससे कम थी। हालांकि 5 लाख से ज्यादा टैक्स योग्य आय वाले लोगों को यह राहत नहीं थी।
2018 में नहीं बदला था टैक्स स्लैब: इससे पहले 2018-19 में टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं किया गया था। तब ढाई लाख रुपये तक की कमाई पर कोई टैक्स नहीं था, हालांकि ढाई लाख से लेकर 5 लाख रुपये तक की आय पर 5 फीसदी टैक्स लगता था। इसके बाद 5 लाख से 10 लाख तक की कमाई पर 20 फीसदी टैक्स और 10 लाख से ज्यादा पर 30 पर्सेंट टैक्स लगता था।
सैलरीड क्लास को बड़ी उम्मीद: मध्यम वर्गीय लोगों और सैलरीड क्लास को टैक्स में कटौती की बड़ी उम्मीद है। आर्थिक जानकारों के मुताबिक यदि सरकार सैलरीड क्लास को टैक्स में कुछ राहत मिलती है तो इसके नतीजे के तौर पर बाजार में डिमांड बढ़ सकती है, जो अर्थव्यवस्था में तेजी के लिए बेहतर संकेत होगा।