Trump Putin Meet: अलास्का में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की मुलाकात बिना किसी नतीजे के खत्म हुई। इस वार्ता का मकसद रूस-यूक्रेन युद्ध में सीजफायर पर सहमति बनाना था, लेकिन पुतिन ने ट्रंप के दबाव को ठुकरा दिया। भारत, जो 15,000 किमी दूर इस घटनाक्रम पर नजर रखे था, को उम्मीद थी कि समझौते से अमेरिका द्वारा भारत पर लगाए गए 25% अतिरिक्त टैरिफ में राहत मिल सकती है। यह टैरिफ रूस से भारत की तेल खरीद और अमेरिका के साथ ट्रेड डील न करने के जवाब में लगाया गया था।
फरवरी 2022 में रूस के यूक्रेन पर हमले के बाद, जब पश्चिमी देशों ने रूसी तेल खरीद बंद की, भारत ने रूस से सस्ते तेल का फायदा उठाया। तब भारत की रूस से तेल खरीद 2% से कम थी, जो अब 35-40% तक पहुंच गई है। उस वक्त बाइडेन प्रशासन ने भारत को रूसी तेल खरीदने के लिए प्रोत्साहित किया था, लेकिन अब ट्रंप इसे रोकने की मांग कर रहे हैं। भारत ने ट्रंप के पाकिस्तान-भारत सीजफायर दावों को भी खारिज किया है।
भारत के लिए यह टैरिफ दबाव रूस पर अप्रत्यक्ष दबाव का हिस्सा है, लेकिन यह भारत-अमेरिका रिश्तों को भी प्रभावित कर रहा है। नई दिल्ली अब रूस के साथ तेल सौदों को संतुलित करने और अमेरिका के साथ रणनीतिक साझेदारी बनाए रखने की चुनौती का सामना कर रही है। ट्रंप-पुतिन वार्ता की नाकामी ने भारत के सामने अनिश्चितता बढ़ा दी है।