Trump Putin Meet: अमेरिका रूस पर सख्त आर्थिक कार्रवाई की योजना बना रहा है, ताकि यूक्रेन युद्ध में सीजफायर के लिए दबाव बनाया जा सके। ट्रम्प प्रशासन रूस की प्रमुख तेल कंपनियों Rosneft और Lukoil पर प्रतिबंध लगाने पर विचार कर रहा है, जो रूस के आधे तेल निर्यात को संभालती हैं। अलास्का में ट्रम्प-पुतिन समिट विफल होने पर यह कदम उठाया जा सकता है। अन्य विकल्पों में रूस के शैडो ऑयल टैंकर फ्लीट पर पाबंदी और चीन, भारत जैसे खरीदारों पर भारी टैरिफ शामिल हैं। भारत पर पहले ही 50% टैरिफ बढ़ाया गया है। विशेषज्ञों का कहना है कि असफल बातचीत से तेल की कीमतें $90 प्रति बैरल तक जा सकती हैं, जबकि समझौता होने पर $65 से नीचे आ सकती हैं। अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी (IEA) ने अगले साल तेल की अधिक आपूर्ति की भविष्यवाणी की है, लेकिन रूस पर प्रतिबंध वैश्विक बाजार में अनिश्चितता ला सकते हैं। 2022 में बाइडन ने तेल कीमतों ($139 प्रति बैरल) और महंगाई के डर से बड़े प्रतिबंध टाले थे। अब अमेरिका रूस की युद्ध फंडिंग को रोकने के लिए आर्थिक दबाव बढ़ाना चाहता है, लेकिन सफल बातचीत पर प्रतिबंध हटाने की गुंजाइश भी रखना चाहता है। (शब्द गिनती: 149)