आज विश्‍व पर्यटन दिवस है। घूमने के लिहाज से भारत दुनिया के बेहतरीन देशों में से हैं। यहां पर खूबसूरत बीच से लेकर उफनती नदियां, सुनहरे रेगिस्‍तान से लेकर बर्फीले चोटियां, मॉडर्न शहरों से लेकर विरासत की कहानी बयां करते ऐतिहासिक नगर मौजूद हैं। भारत में दुनिया के सात अजूबों में से एक ताजमहल भी मौजूद है। साथ ही राजस्‍थान के शाही किले इतिहास की कहानी सुनाते हैं। गोवा के बीच, उत्‍तर-पूर्व के जंगल, कश्‍मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्‍तराखंड के बर्फ से लदे पहाड़ पूरी दुनिया की सुंदरता समेटे हुए हैं। साथ ही प्रत्‍येक किलोमीटर पर बदलती बोली और खानपान पूरी तरह से मन मोह लेते हैं। भारत तीन ओर से समुद्र से घिरा है तो इसका उत्‍तरी छोर बर्फ से लकदक है। पूर्वी किनारा घने जंगलों को सहेजे है।

घूमना एक ऐसा साधन है जो हमें जिंदगी के अलग-अलग दिलचस्‍प पहलू बताता है। विेदेशी यात्री इब्‍न बतूता ने कहा है, ”घूमना- यह आपको अवाक् कर देगा फिर आपको यह कहानीकार बना देता है।” विश्‍व पर्यटन दिवस के मौके पर हम आपको बता रहें हैं भारत की 10 ऐसी जगहें जहां आपको इस साल के अंत तक जरूर घूमना चाहिए।

खजुराहो: खूबसूरत खजुराहो ऐतिहासिक शहर है। खजुराहो के मंदिर 6 किलोमीटर में फैला हुआ है और इसमें कुल 20 मंदिर हैं। इनमें कुछ छोटे और कुछ काफी बड़े हैं। ये मंदिर साथ बनाए गए थे लेकिन दो अलग धर्मों हिंदू और जैन का प्रतिनिधित्‍व करते हैं। ये मंदिर कामशास्‍त्र को बखूबी दर्शाते हैं।

खूबसूरत खजुराहो ऐतिहासिक शहर है।

गुलमर्ग: गुलमर्ग का मतलब होता है फूलों का मैदान। श्रीनगर के पास स्थित यह कस्‍बा विस्‍मरणीय यादें देता है। यह जगह गर्मियों में घूमने के लिए अनुकूल है। सर्दियों में जाने पर यहां हाइकिंग, स्‍कीइंग के साथ ही केबल कार का लुत्‍फ उठाया जा सकता है।

गुलमर्ग का मतलब होता है फूलों का मैदान।

वाराणसी: वाराणसी का दूसरा नाम बनारस भी है। इसे दुनिया का सबसे पुराना शहर माना जाता है। हिंदुओं और बौद्धों के लिए यह शहर धार्मिक रूप से काफी अहम है। गंगा नदी के किनारे बसा यह शहर कई रंगों का मिश्रण है। यहां पर काशी विश्‍वनाथ मंदिर भी है जिसमें हर साल लाखों श्रद्धालु दर्शन के लिए आते हैं।

वाराणसी का दूसरा नाम बनारस भी है। इसे दुनिया का सबसे पुराना शहर माना जाता है।

पुदुचेरी: पुदुचेरी फ्रांसिसी रंगों वाला भारतीय शहर है। इस पर डच, पुर्तगीज और ब्रिटिश असर भी है। यह शहर भी औपनिवेशिक काल की धरोहर को बचाए हुए है।

पुदुचेरी फ्रांसिसी रंगों वाला भारतीय शहर है। इस पर डच, पुर्तगीज और ब्रिटिश असर भी है।

अल्‍मोड़ा: अल्‍मोड़ा उत्‍तराखंड का पहाड़ी कस्‍बा है। हरियाली से घिरा यह कस्‍बा शहरी प्रदूषण और कोलाहल से अलग शांति प्रदान करता है। दूर-दूर बसे घर और ऊंचे-नीचे रास्‍ते मन को छू लेते हैं।

अल्‍मोड़ा उत्‍तराखंड का पहाड़ी कस्‍बा है।

दार्जिलिंग: इस शहर को भारत की चाय की राजधानी भी कहा जाता है। आजादी से पहले ब्रिटिश लोग गर्मियों में यहां रहने आते थे। यहां पर दूर-दूर तक चाय के बागान नजर आते हैं और उनके इर्द-गिर्द है पहाड़। टॉय ट्रेन आपको इन सबके बीच ले जाएगी।

दार्जिलिंग को भारत की चाय की राजधानी भी कहा जाता है।

हंपी: कर्नाटक का यह ऐतिहासिक शहर विजयनगर साम्राज्‍य की दास्‍तां सुनाता है। यूनेस्‍को ने इसे वर्ल्‍ड हेरिटेज का खिताब दे रखा है। दुनियाभर के लोग इसे देखने के लिए आते हैं। पास से बहती नदी सफर में चार चांद लगा देती है। एक समय यह जगह एक भव्‍य नगर हुआ करता था लेकिन अब केवल अवशेष बचे हैं। बावजूद इसके इसका सम्‍मोहन कम नहीं हुआ है।

कर्नाटक का यह ऐतिहासिक शहर विजयनगर साम्राज्‍य की दास्‍तां सुनाता है। हंपी को यूनेस्‍को ने इसे वर्ल्‍ड हेरिटेज का खिताब दे रखा है।

कच्‍छ: गुजरात के पश्चिमी किनारे पर मौजूद है कच्‍छ। कच्‍छ ग्रामीण भारत के दर्शन कराता है। नमक की सफेद चादर ओढ़े कच्‍छ का रण चांदनी रात में चांदी तरह चमकता है। सर्दियों में यह जगह और भी हसीन हो जाती है। स्‍थानीय रंग-बिरंगी वेशभूषा पहने लोग आकर्षित कर लेते हैं।

गुजरात के पश्चिमी किनारे पर मौजूद है कच्‍छ। कच्‍छ ग्रामीण भारत के दर्शन कराता है।

उदयपुर: पूर्व के वेनिस के नाम से मशहूर यह शहर देश के सबसे खूबसूरत शहरों में से एक है। राजस्‍थान के दक्षिणी हिस्‍से में पहाड़ों के बीच बसा उदयपुर हेरिटेज और प्राकृतिक सुंदरता का अनूठा मिश्रण है। शहर में और आसपास मौजूद झीलों के कारण इसे झीलों की नगरी भी कहा जाता है। इसके पास ही है हल्‍दीघाटी जहां राणा प्रताप ने मुगलों से लोहा लिया था।

पूर्व के वेनिस के नाम से मशहूर यह शहर देश के सबसे खूबसूरत शहरों में से एक है।

कोच्चि:कोच्चि देश का एक महत्‍वपूर्ण बंदरगाह है। 600 साल से यह विदेशी कारोबार का केंद्र बना हुआ है। भगवान की भूमि कहे जाने वाले केरल घूमना हो तो उसकी शुरुआत यहां से की जा सकती है।

कोच्चि देश का एक महत्‍वपूर्ण बंदरगाह है। 600 साल से यह विदेशी कारोबार का केंद्र बना हुआ है।