दंगल मूवी कास्ट- आमिर खान, साक्षी तंवर, फातिमा सना शेख, सान्या मल्होत्रा, आपारशक्ति खुराना, विवियन भटेना
दंगल मूवी डायरेक्टर- नीतेश तिवारी
कई बार स्टार्स को अपने किरदार में फिट होने के लिए वो सब करना पड़ता है जिसमें कि वो हैंडसम नहीं दिखते हैं। ऐसा ही कुछ किया आमिर खान ने फिल्म दंगल के लिए। जिसमें उनके युवा सीन कम जबकि बच्चों के पिता वाले सीन ज्यादा हैं। इसकी शूटिंग के लिए मिस्टर परफेक्शनिस्ट को एक बार वजन घटाना तो एक बार बढ़ाना पड़ा। इस संबंध में एक वीडियो भी जारी किया गया था। इसके जरिए आमिर के भविष्य की परफॉरेमेंस को नापा जाएगा। जिसमें वो एक हारे हुए महावीर सिंह फोगट, कड़क लेकिन केयरिंग पति और चार लड़कियों के पिता की भूमिका निभा रहे हैं। इसमें काफी हद तक वो प्वाइंट नजर आ रहा है जहां एक स्टर नहीं बल्कि असली किरदार दर्शकों को देखने को मिलेगा।
इस बात पर विश्वास करना थोड़ा मुश्किल होगा। जिसमें कई बातें असली हरियाणा के रेस्लर से लिए गए हैं। जिसने अपनी दो बड़ी बेटियों गीता (फातिमा सना शेख) और बबीता (सान्या मल्होत्रा) को रेस्लिंग सिखाई। दंगल में आपको दो तरह के पैमाने मिलेंगे। पहला यह एक मशहूर स्पोर्ट पर बनी सामान्य फिल्म है जिसमें खेल और खिलाड़ी को दिखाया गया है। इसमें मिट्टी, अखाड़ा और कुश्ती के जबर्दस्त दांव-पेंच देखने को मिलेंगे। जिसमें दिखाया गया है कि वो किस तरह कड़ी ट्रेनिंग और दर्द सहकर एक रेस्लर बनने में कामयाबी हासिल करते हैं। इस सभी पड़ाव से गुजरकर एक चैंपियन बनता है। दूसरा महत्वपूर्ण पुट इसमें समानता का है। फिल्म का मजबूत बयान भी है कि लड़कियां लड़कों के बराबर हैं। जब महावीर अपनी बेटियों को रेस्लिंग सिखाने की कोशिश करते हैं तो उन्हें लोगों की हंसी और उपहास का सामना करना पड़ता है। वहीं बेटा ना होने पर मां (साक्षी तंवर) पर भी टिप्पणी की जाती है। लेकिन रेस्लर हार नहीं मानते हैं और अपनी बेटियों पर विश्वास करते हैं। उनका मानना है कि उनकी छोरियां छोरों से कम नहीं है। इससे लगता है कि असल जिंदगी का फोगट अपनी लड़कियों में दिखता है जोकि राष्ट्रीय और अंतर राष्ट्रीय स्तर पर मेडल और पदक जीतकर लाती हैं।
गीता और बबीता का रोल निभाने वाले एक्टर्स ने बेहतरीन काम किया है। सान्या और शेख उन युवा लड़कियों को दिखाती हैं जोकि मौज और मस्ती करने में ज्यादा विश्वास करती हैं। खासतौर पर सेकेंड हाफ में वो हारना और जीतना सीखती हैं। इसके बाद क्या होगा इसका अंदाजा आसानी से लगाया जा सकता है। फिल्म देखते समय कई बार आपको लगता है कि अब फिल्म ढीली पड़ रही है इसे थोड़ा और कसना चाहिए था। लेकिन इसकी हकीकत की वजह से आप फिल्म से आखिर तक बंधे रहेंगे। लड़कियां मेडल जीतने के लिए लड़ती हुई नजर आती हैं। परफॉर्मेंस की वजह से फिल्म लोगों को खूब पसंद आएगी।
फिल्म में पहली बार काम करने वाली लड़कियों ने उम्दा अभिनय किया है। उन्हें देखकर लग ही नहीं रहा है कि वो इंडस्ट्री में नई हैं। आमिर की पत्नी के तौर पर साक्षी काफी जंच रही हैं। लेकिन यह साफतौर पर आमिर की फिल्म है। उन्होंने इस फिल्म को अपने टॉपिक से भटकने नहीं दिया है। यह एक संदेश वाली फिल्म है जो बहुत ही शानदार तरीके से लोगों को मैसेज देगी। इसमें थोड़ी और पॉलिश की जा सकती थी। लेकिन समस्त रूप से देखा जाए तो फिल्म हकीकत के काफी करीब है। यह फिल्म 23 दिसंबर को रिलीज होगी।